भोपाल। मध्य प्रदेश में झाबुआ उप चुनाव के बाद अब मंत्रिमंडल में फेरबदल की अटकलें तेज़ हो गईं है। मुख्यमंत्री कमलनाथ 5 नवंबर को विदेश दौरे पर जा रहे हैं। वहां से लौटने के बाद वह मंत्रिमंडल में बड़ा फेरबदल कर सकते हैं। जिन मंत्रियों के पास ज्यादा विभाग है उनके विभाग कम किए जाएंगे। और नए मंत्रियों को उनका प्रभार सौंपा जाएगा।
दरअसल, लंबे समय से कांग्रेस में कैबिनेट विस्तार को लेकर मंथन चल रहा है। महाराष्ट्र, हरियाणा और उप चुनाव के कारण अब तल कैबिनेट विस्तार का फैसला टलता आ रहा था। दोनों प्रदेशों में कांग्रेस ने हार के बाद भी ठीक प्रदर्शन किया है। जिससे अब कांग्रेस कार्यकर्ताओंं में काफी ऊर्जा आई है। पार्टी नेताओं ने भी अब बदलाव का फैसला किया है। मुख्यमंत्री कमलनाथ 4 नवंबर को दिल्ली में सोनिया गांधी से मिलकर एक लिस्ट पर चर्चा करेंगे। इस लिस्ट में उन विधायकों का नाम रहेगा जिन्हें कैबिनेट में जगह दी जा सकती है। दूसरी ओर कैबिनेट विस्तार के साथ ही कई मंत्रियों से विभाग वापस लिए जाएगें। यह वह विभाग होंगे जो मंत्रियों के पास अधिक।
कमलनाथ अपने मौजूदा कैबिनेट मंत्री के विभागों में कटौती भी कर सकते हैं। सूत्रों का कहना है कि जिन मंत्रियों के पास दो या तीन विभागों की जिम्मेदारी है उनके विभागों में कटौती की जा सकती है। वहीं, कुछ मंत्रियों के पास बेमेल विभाग हैं उन में भी कटौती की जा सकती है। विजयलक्ष्मी साधौ के पास संस्कृति और चिकित्सा विभाग है। सज्जन सिंह वर्मा के पास लोक निर्माण विभाग के साथ पर्यावरण, बाला बच्चन के पास गृह के साथ साथ जेल और तकनीकी शिक्षा का मंत्रालय है वहीं, गोविंद सिंह राजपूत के पास परिवहन के साथ राजस्व विभाग है। ऐसे मंत्रियों के विभागों में कटौती की जा सकती है।