इन दिनों एमपी में भाजपा के वरिष्ठ नेता और पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर को लेकर सियासत गर्माई हुई है।वरिष्ठ नेता दिग्विजय के ऑफर और भाजपा के खिलाफ उनके बगावती तेवरों के बाद लगातार उनके कांग्रेस में जाने की अटकले लगाई जा रही है।इसी बीच कमलनाथ सरकार में पीडब्ल्यूमंत्री सज्जन सिंह वर्मा का बयान सामने आया है। उन्होंने भाजपा के दिग्गज बाबूलाल गौर को कांग्रेस से टिकट देने के सवाल पर कहा कि काफी समय से उनका झुकाव कांग्रेस की तरफ है। यह बात सही है कि मुख्यमंत्री कमल नाथ जब केंद्र में मंत्री थे, तब उन्होंने गौर के प्रदेश कार्यकाल में काफी मदद की। वे उनका आदर करते हैं। यह आदर टिकट में बदल सकता है।वर्मा जिला योजना समिति की बैठक में शामिल होने खरगोन पहुंचे थे।
इतना ही नही आगे उन्होंने कहा कि जब भी बाबूलाल गौर जनहितैषी योजनाओं के लिए जाते थे, तो कमलनाथ फंड रिलीज कर देते थे।अब कमलनाथ सीएम हैं और बाबूलाल गौर का उनसे आदर भाव है, वो आदर भाव टिकट में बदल सकता है।वही करीना कपूर व सलमान खान जैसे अभिनेताओं को लोकसभा चुनाव में टिकट देने पर वर्मा ने कहा कि अभिनेत्री रेखा और क्रिकेटर सचिन तेंडुलकर को राज्यसभा में भेजकर क्या फायदा हुआ, बल्कि कांग्रेस के दो नेताओं का हक ही मारा गया। राजनीति और कांग्रेस में लंबे समय तक सेवा देने वालों को ही मौका मिलना चाहिए।अब यह गौर को सोचना है। वर्मा के बयान के बाद एक बार फिर राजनैतिक गलियाओं में चर्चाओं का दौर शुरु हो गया है।
गौर के घर कांग्रेस नेताओं का आना-जाना जारी
बीते कई दिनों से कांग्रेस नेताओं का गौर के घर आने जाने का सिलसिला जारी है।बीते कई दिनो से कांग्रेस के मंत्री से लेकर तमाम बड़े नेता बाबूलाल गौर से मिलने, उनका आशीर्वाद लेने और उनसे सलाह लेने लगातार उनके घर पहुंच रहे हैं।।यहां तक की प्रदेश में कमलनाथ के मुख्यमंत्री बनने के दिन ही बाबूलाल गौर को कांग्रेस ने भोपाल से लोकसभा का ऑफर दे दिया था। इसके बाद दिग्विजय सिंह के खास समर्थक डॉ. गोविन्द सिंह उनके घर पहुंचे और उन्हें सम्मानजनक तरीके से कांग्रेस में आने का सुझाव दिया। इसके कुछ दिन पहले आरिफ अकील उनके घर पहुंचे थे। दिग्विजय सिंह अपने बेटे जयवर्द्धन सिंह को आशीर्वाद दिलाने गौर के पास ले गए। चुनाव हारने के बाद अजय सिंह भी गौर साहब के पास राजनीतिक मंत्रणा करने पहुंचे। 18 जनवरी को दिग्विजय सिंह फिर से भोजन करने के बहाने गौर के घर पहुंचे और उन्हें कांग्रेस में आने का औपचारिक आमंत्रण दिया। इसके बाद शुक्रवार को मंत्री जीतू पटवारी ने भी गौर से मुलाकात की है। इस दौरान गौर ने कमलनाथ का फोटो दिखाते हुए कहा था कि ये हमारे नेता है। सूत्रों के मुताबिक इतने सारे कांग्रेस नेताओं से मुलाक़ात और आग्रह के बाद बाबूलाल गौर ने अपने कुछ विश्वनीय समर्थकों से राय भी की है। गौर ने कुछ भरोसेमंद अधिकारियों से भी इस संबंध में सलाह मांगी है।वही कांग्रेस के प्रस्ताव पर गौर ने सार्वजनिक रूप से चर्चा करना भी शुरू कर दिया है।
गौर को मनाने में जुटी भाजपा
कांग्रेस से ऑफर मिलने के बाद भाजपा के प्रति गौर के तेवर बदले बदले नजर आ रहे है। उन्होंने पार्टी के खिलाफ ही मोर्चा खोल दिया है हालांकी पार्टी द्वारा गौर को समझाइश दी गई है कि वे अनुशासन का पालन करे , वरना उनके खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।इस सियासी भूचाल के बाद बीती रात लोकसभा चुनाव प्रदेश प्रभारी और बीजेपी नेता स्वतंत्र देव भी गौर से मिलने पहुंचे। गौर से मिलने के बाद उन्होंने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने मीडिया से कहा कि गौर को लोकसभा टिकट देने का फैसला पार्टी संसदीय बोर्ड करेगा। खबर है कि कांग्रेस में जाने की चर्चाओं के बीच यह मुलाक़ात नाराज बाबूलाल गौर को मनाने की कोशिश में लगी हुई है। पार्टी को डर है कि यदि गौर कांग्रेस में गए तो लोकसभा चुनाव में केवल भोपाल ही नहीं आसपास के कई सीटें प्रभावित हो सकती हैं। जिसके चलते पार्टी ने उन्हें मनाने में जुटी हुई है।