बिहार की सियासत में पीएम मोदी और उनकी मां पर अभद्र टिप्पणी के बाद विवाद बढ़ता जा रहा है। पटना में पोस्टर वॉर छिड़ गया है, जहां एनडीए सरकार की योजनाओं को उजागर करने वाले पोस्टर के साथ महागठबंधन पर निशाना साधा गया है। पोस्टरों में संदेश दिया गया है कि एक तरफ एनडीए सरकार महिलाओं के लिए पेंशन बढ़ा रही है, तो दूसरी तरफ प्रधानमंत्री की स्वर्गीय माता का अपमान किया जा रहा है। वहीं राजद प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि गाली-गलौज की भाषा लोकतंत्र में स्वीकार्य नहीं है और दोषी पर कार्रवाई होनी चाहिए, लेकिन बीजेपी को भी अपने गिरेबां में झांकना चाहिए।
पटना में पोस्टर वॉर की शुरुआत
आयकर गोलंबर पर लगाए गए पोस्टर में क्षत्रिय संघर्ष समिति ने एनडीए सरकार की उपलब्धियों को दर्शाते हुए लिखा – “महिलाओं के लिए 1100 रुपये पेंशन और दूसरी ओर अपमान।” इस पोस्टर का सीधा संदेश है कि एनडीए समाज कल्याण के काम कर रही है जबकि विपक्ष अभद्रता पर उतर आया है।
एनडीए की सामाजिक सुरक्षा योजना
जुलाई में नीतीश कुमार की अगुवाई वाली एनडीए सरकार ने पेंशन राशि 400 रुपये से बढ़ाकर 1100 रुपये कर दी। इसका लाभ वृद्ध, विधवा और दिव्यांग महिलाओं को मिल रहा है।
राजद की प्रतिक्रिया
राजद प्रवक्ता मृत्युंजय तिवारी ने कहा कि जिसने भी गाली दी, उस पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए। लेकिन उन्होंने आरोप लगाया कि गाली देने वाला व्यक्ति बीजेपी से जुड़ा है। साथ ही, बीजेपी पर सोनिया गांधी के खिलाफ आपत्तिजनक टिप्पणियों का आरोप भी लगाया।
गांधी मैदान में मौन धरना
बीजेपी नेता गांधी प्रतिमा के सामने मौन धरना देकर विरोध जता रहे हैं। उन्होंने हाथों में बैनर और पोस्टर लिए, जिन पर अभद्र भाषा का विरोध लिखा है।





