ब्लैक फंगस को लेकर चिंतित सरकार, Amphoterecin- B इंजेक्शन को लेकर जारी किए ये निर्देश

Atul Saxena
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भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। पोस्ट कोविड कॉम्प्लीकेशन (Post Covid Complication) के रूप में सामने आई नई बीमारी ब्लैक फंगस (Black Fungus) को लेकर मध्यप्रदेश सरकार (MP Government) बहुत चिंतित है। सरकार ब्लैक फंगस (Black Fungus) से पीड़ित होने वाले मरीजों के लिए प्रदेश के मेडिकल कॉलेजों के अस्पतालों में अलग से बेड रिजर्व रखने के निर्देश दे चुकी है। सभी वरिष्ठ अधिकारियों और चिकित्सकों से अलर्ट रहने के निर्देश भी दे चुकी है अब सरकार ने ब्लैक फंगस (Black Fungus) बीमारी में इलाज  उपयोग किये जाने वाले इंजेक्शन एमफोटेरेसिन बी (Amphoterecin- B) की कालाबाजारी और जमाखोरी पर नियंत्रण के निर्देश दिए हैं जिससे आवश्यकता पड़ने पर जरूरतमंद को ये आसानी से उपलब्ध हो जाये।

कोरोना (Corona) के इलाज के लिए जीवनरक्षक घोषित होते ही रेमडेसिवीर (Remdesivir Injection) इंजेक्शन को कालाबाजारियों और जमाखोरों से मार्केट से गायब कर दिया और मोटा मुनाफा कमाने के लिए ऊँचे दामों में बेचा। इस बीच नकली रेमडेसिवीर इंजेक्शन (Remdesivir Injection) भी मार्केट में बेचे गए।  लेकिन सरकार ने कालाबाजारियों के हौसले पस्त कर दिए।  और अस्पतालों में रेमडेसिवीर इंजेक्शन (Remdesivir Injection) की उपलब्धता बढ़ा दी।

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मध्यप्रदेश सरकार (MP Government) रेमडेसिवीर इंजेक्शन (Remdesivir Injection)  की उपलब्धता थोड़ी ठीक कर पाई थी कि पोस्ट कोविड कॉम्प्लीकेशन (Post Covid Complication) म्यूकोरमाइकोसिस यानि ब्लैक फंगस (Black Fungus) बीमारी सामने आ गई। कोरोना से रिकवर हो रहे मरीजों या फिर रिकवर हो चुके मरीजों में ये बीमारी मिल रही है इसे ब्लैक फंगस (Black Fungus) नाम दिया है ये नाक के रास्ते होती है हुए साइनस सिस्टम को ब्लॉक कर प्राणघातक तक बन जाती है।  यदि समय पर इलाज मिल जाये तो मरीज के ठीक होने के चांस बहुत अधिक है। बीमारी सामने आने के बाद डॉक्टर बहुत से मरीजों को ऑपरेशन कर फंगस बाहर निकाल कर उन्हें ठीक कर चुके हैं।

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खास बात ये है कि ब्लैक फंगस (Black Fungus) बीमारी एक फंगल इंफेक्शन है इसके इलाज के लिए डॉक्टरों द्वारा जब से इंजेक्शन एमफोटेरेसिन बी (Amphoterecin- B) कारगर बताया गया है जमाखोरों और कालाबाजारियों की नजर उस पर पड़ गई है।  अब इंजेक्शन एमफोटेरेसिन बी (Amphoterecin- B) भी मार्केट से गायब होने लगा है  लेकिन प्रदेश के खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग ने दिशा निर्देश जारी किये हैं।

खाद्य एवं औषधि प्रशासन विभाग ककंट्रोलर पी नरहरि (P Narhari) के हस्ताक्षर से जारी आदेश में प्रदेश के सभी औषधि निरीक्षकों , सभी C&F, स्टॉकिस्ट , डिस्ट्रीब्यूटर , होलसेलर, दवा विक्रेताओं को दिशा निर्देश जारी किये हैं और निर्देश दिए हैं कि मांग को देखते हुए इंजेक्शन एमफोटेरेसिन बी (Amphoterecin- B) की कालाबाजारी और जमाखोरी पर नजर रखी जाये साथ ही इसकी उपलब्धता बनाये रखना भी आप लोगों की जिम्मेदारी है।

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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

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