स्कूल जाने के लिए अभिभावकों की परमिशन लेना अनिवार्य; नहीं होगी मॉर्निंग असेंबली, गाइडलाइन जारी

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      • कक्षा 10वीं और 12वीं की बोर्ड परीक्षाओं को लेकर स्कूल को फिर से संचालित करने का आदेश दे दिया गया है। जिसमें कक्षा 10वीं और 12वीं की क्लासेस नियमित रूप से संचालित की जाएंगी।
      • किसी भी विद्यार्थी के स्कूल आने पर अभिभावकों की अनुमति अनिवार्य रहेगी।
      • छात्रों को स्कूल में अधिक संख्या में नहीं बुलाना है, क्योंकि इस दौरान SOP का पालन करना अनिवार्य रहेगा।
      • स्कूलों में छात्रों की उपस्थिति अनिवार्य नहीं रहेगी।

भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश सरकार (Madhya Pradesh) ने 10वीं और 12वीं तक के स्कूल खोले (School-Reopen) जाने को लेकर नई दिशा निर्देश जारी की है। जिसके अनुसार 18 दिसंबर से कक्षा 10वीं और 12वीं की क्लासेस (Classes) शुरू होंगी। जिसमें छात्र-छात्राएं अपने अभिभावकों (Parents) से परमिशन लेने के बाद ही स्कूल आएंगे। बच्चों को किसी भी तरह से स्कूल आने के लिए बाध्य नहीं किया जाएगा। इसके लिए परेंट्स से अनुमति (Permission) लेना अनिवार्य रहेगा और ये अनुमति एक बार लिया जाएगा, जो पूरे शैक्षिणक सत्र (Academic session) के लिए लागू रहेगा।

पहली से 8वीं तक स्कूल रहेंगे बंद


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Gaurav Sharma

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पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है। इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।