भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। मध्यप्रदेश उपचुनाव (Madhya Pradesh by-election) से पहले आज मंगलवार को शिवराज कैबिनेट (Shivraj Cabinet) की अहम बैठक बुलाई गई, जिसमें आधा दर्जन प्रस्तावों को मंजूरी दी, वही उपचुनाव को लेकर लगी आचार संहिता (Code of conduct) को देखते हुए कई प्रस्तावों को हरी झंडी नही मिल सकी।नए टोल टैक्स प्रस्ताव और पर्यटन विकास निगम की जमीन को व्यावसायिक गतिविधियों के लिए देने का प्रस्ताव निरस्त हो गया है।आचार संहिता के चलते दोनों प्रस्तावों को मंजूरी नही मिल सकी।
बैठक की ब्रीफ्रिंग गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने की ।इससे पहले मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Shivraj Singh Chauhan) की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की बैठक 8 सितम्बर को हुई थी, जिसमें एक दर्जन से ज्यादा प्रस्तावों को मंजूरी दी गई थी।मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में संपन्न हुई शिवराज कैबिनेट की बैठक में आधा दर्जन प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। महज 10-15 मिनट चली कैबिनेट की बैठक में दो महत्वपूर्ण प्रस्तावों पर प्रदेश के 28 विधानसभा क्षेत्रों में लगी चुनाव आचार संहिता के कारण मंजूरी नहीं दी गई।
बिजली सब्सिडी के लिए 11.85 करोड़ रुपए की राशि स्वीकृत
शिवराज कैबिनेट ने नगरीय निकायों को स्ट्रीट लाइट के लिए 11.75 करोड़ की सब्सिडी देने का निर्णय लिया है।नरोत्तम मिश्रा ने बताया कि कैबिनेट ने प्रदेश में सभी नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायतों को बिजली सब्सिडी के लिए 11.85 करोड़ रुपए की राशि स्वीकृत की है। कांग्रेस सरकार ने नगरीय निकायों को यह राशि नहीं दी थी, जिससे उन्हें कठिनाई का सामना करना पड़ रहा था।नरोत्तम ने कहा कि मप्र सरकार ने किसानों की आर्थिक मदद के लिए पिछले 6 माह में कई बड़े कदम उठाए हैं। फसल बीमा, शून्य ब्याज पर ऋण और किसान कल्याण जैसी योजनाओं के तहत प्रदेश के किसानों को करीब 20 हजार करोड़ रुपए की राशि उपलब्ध कराई गई है। यह अपने आप में एक रिकार्ड है।
बता दे कि निरस्त हुए पहले प्रस्ताव में प्रदेश की 13 सड़कों पर नए टोल टैक्स लगाने का प्रस्ताव था, जबकि दूसरा प्रस्ताव पर्यटन विकास निगम की जमीन व्यावसायिक गतिवधियों को देने का था। उम्मीद जताई जा रही थी कि उपचुनाव को ध्यान में रखते हुए इन दोनों प्रस्तावों को मंजूरी दी जा सकती है, लेकिन ऐसा ना हो सका।
इससे पहले मुख्यमंत्री ने सोमवार को बाढ़ व कीड़ों के कारण खराब हुई फसल की समीक्षा कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने बाढ़ से खराब फसल की समीक्षा करते हुए कहा है कि प्रदेश में बाढ़ व कीड़ों के कारण प्रभावित हुए किसानों को उनकी खराब हुई पूरी फसल का मुआवजा दिलाया जाएगा। हालांकि प्रदेश में कोविड संकट के चलते अर्थव्यवस्था की स्थिति खराब है, लेकिन किसानों की मदद में कोई कोर-कसर नहीं छोड़ी जाएगी।