SBI Dividend to Govt : भारत के सबसे बड़े सरकारी बैंक, भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) ने पिछले वित्त वर्ष के लिए एक रिकॉर्ड डिविडेंड भुगतान करते हुए सरकार को 7 हजार करोड़ रुपये से अधिक का लाभांश दिया है। दरअसल यह भुगतान शुक्रवार को वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण को सौंपा गया। जिसकी जानकारी खुद वित्त मंत्री ने अपने सोशल मीडिया अकाउंट X पर शेयर की।
Smt @nsitharaman receives a dividend cheque of Rs 6959.29 crore for FY 2023-24 from @TheOfficialSBI Chairman Shri Dinesh Kumar Khara. pic.twitter.com/sxuXi8xc2Z
— Nirmala Sitharaman Office (@nsitharamanoffc) June 21, 2024
वित्त मंत्री ने शेयर की जानकारी:
दरअसल वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के कार्यालय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर इसके बारे में जानकारी दी। जानकारी के अनुसार, एसबीआई के चेयरमैन दिनेश कुमार खारा ने वित्तीय मामलों के सचिव विवेक जोशी की उपस्थिति में वित्त मंत्री को 6,959.29 करोड़ रुपये के डिविडेंड का चेक सौंपा।
पिछले वित्त वर्ष का डिविडेंड:
जानकारी के अनुसार एसबीआई ने हाल ही में वित्त वर्ष 2023-24 के लिए डिविडेंड की घोषणा की थी। बैंक ने प्रति शेयर 13.70 रुपये का लाभांश देने की जानकारी दी थी, जो पिछले वर्ष की तुलना में अधिक है। वहीं आपको जानकारी दे दें कि वित्त वर्ष 2022-23 में एसबीआई ने प्रति शेयर 11.30 रुपये का लाभांश दिया था।
दरअसल इस बार जो डिविडेंड एसबीआई ने भुगतान किया है, वह अब तक किसी भी एक वित्त वर्ष में किया गया सबसे बड़ा भुगतान है। जबकि इससे पहले की बात की जाए तो, वित्त वर्ष 2022-23 में एसबीआई ने सरकार को 5,740 करोड़ रुपये का डिविडेंड दिया था। इस बार का भुगतान पिछले वर्ष की तुलना में 21.24% अधिक है।
एसबीआई का वित्तीय प्रदर्शन:
एसबीआई ने यह डिविडेंड भुगतान पिछले वित्त वर्ष में उत्कृष्ट वित्तीय प्रदर्शन के बाद किया है। बैंक को वित्त वर्ष 2023-24 में कंसोलिडेटेड आधार पर 67,085 करोड़ रुपये का शुद्ध मुनाफा हुआ है, जबकि वित्त वर्ष 2022-23 में यह मुनाफा 55,648 करोड़ रुपये था। यानी यह मुनाफा हम पिछले वर्ष की तुलना में देखने तो इस बार एसबीआई का शुद्ध मुनाफा लगभग 21% बढ़ा है।
इस प्रकार, एसबीआई ने सरकार को 7 हजार करोड़ रुपये से अधिक का डिविडेंड देकर एक नया रिकॉर्ड बनाया है, जो दर्शाता है कि बैंक का वित्तीय प्रदर्शन लगातार बेहतर हो रहा है। यह भुगतान भारतीय अर्थव्यवस्था में बैंकों के महत्वपूर्ण स्थान को और भी मजबूती देगा।