हर मिनट 3 करोड़ कमाती है ये फैमिली! यहां जानिए कैसे नमक-हल्दी बेचने से की शुरुआत और बन गया दुनिया का सबसे अमीर परिवार

एक समय नमक-हल्दी बेचने से शुरुआत करने वाले सैम वॉलटन ने वॉलमार्ट की नींव रखी और आज उनकी फैमिली दुनिया की सबसे अमीर फैमिली बन चुकी है। बता दें कि एलन मस्क को पीछे छोड़ते हुए वॉलटन परिवार की नेटवर्थ 432 अरब डॉलर पहुंच गई है और वे हर मिनट करीब 3 करोड़ रुपये कमा रहे हैं।

सैम वॉलटन की कहानी आम लोगों के लिए किसी प्रेरणा से कम नहीं है। एक किसान परिवार से आने वाला यह लड़का शुरुआत में दूध और अखबार बेचकर परिवार की मदद करता था। धीरे-धीरे उसने दुनिया की सबसे बड़ी रिटेल चेन “वॉलमार्ट” खड़ी कर दी। वॉलटन परिवार की संपत्ति अब इतनी हो चुकी है कि उन्होंने एलन मस्क, बेजोस और खाड़ी देशों के अमीर शासकों को भी पीछे छोड़ दिया है।

वॉलमार्ट की शुरुआत कैसे हुई?

दरअसल वॉलमार्ट की नींव 1962 में रखी गई थी, लेकिन इसकी कहानी उससे कई साल पहले शुरू हुई। सैम वॉलटन ने 1945 में 25,000 डॉलर उधार लेकर एक छोटी दुकान शुरू की थी। इस दुकान में रोजमर्रा की चीजें जैसे नमक, हल्दी, साबुन, तेल कम दामों में मिलती थीं। सैम का सपना था ‘अच्छा सामान, सस्ते दामों में दिए जाए।’ पहले रिटेल स्टोर से मिले अनुभव और छोटे कस्बों की जरूरतों को समझते हुए उन्होंने 2 जुलाई 1962 को अमेरिका के अर्कांसस राज्य में पहला वॉलमार्ट स्टोर खोला। यहां कोई तामझाम नहीं था, बस ग्राहकों को चाहिए था भरोसेमंद और सस्ता सामान। सैम ने सप्लाई चेन को इतनी मजबूत बनाया कि हर स्टोर तक अगले दिन माल पहुंच सके। आज यही मॉडल डी-मार्ट जैसे भारतीय ब्रांड भी फॉलो कर रहे हैं।

वॉलटन फैमिली की दौलत और कमाई

दरअसल 2024 के आंकड़ों के मुताबिक वॉलटन परिवार की कुल संपत्ति लगभग 432.4 अरब डॉलर है। यह एलन मस्क की संपत्ति से भी ज्यादा है। इस फैमिली की हर मिनट की कमाई करीब 3 करोड़ रुपये है और यह आंकड़ा लगातार बढ़ता जा रहा है। वॉलमार्ट की रोजाना बिक्री 1.64 अरब डॉलर है। अमेरिका में इसकी हजारों ब्रांच हैं और ऑनलाइन मार्केट में भी वॉलमार्ट ने Amazon को टक्कर देने के लिए Jet.com जैसी कई कंपनियों को खरीदा है। इसके चलते वॉलटन फैमिली अब सिर्फ रिटेल ही नहीं, ई-कॉमर्स और टेक सेक्टर में भी सक्रिय है।

सैम वॉलटन की सोच बिल्कुल अलग

वहीं सैम वॉलटन ने हमेशा लोकल प्रोडक्ट्स को बढ़ावा दिया और अमेरिकी सामान को तरजीह दी। उन्होंने पर्यावरण सुरक्षा, सौर ऊर्जा, और मजदूरों के हक के लिए भी कई काम किए, हालांकि कंपनी को कई बार आलोचना का भी सामना करना पड़ा। 1987 में सैम और उनकी पत्नी हेलेन ने “वॉलटन फैमिली फाउंडेशन” की शुरुआत की, जो अब हर साल 500 मिलियन डॉलर से ज्यादा दान करती है। ये फंड शिक्षा, पर्यावरण और समाज के विकास में खर्च होता है। आर्कांसस यूनिवर्सिटी को मिला 300 मिलियन डॉलर का दान इसका एक उदाहरण है।


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Ronak Namdev

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मैं रौनक नामदेव, एक लेखक जो अपनी कलम से विचारों को साकार करता है। मुझे लगता है कि शब्दों में वो जादू है जो समाज को बदल सकता है, और यही मेरा मकसद है - सही बात को सही ढंग से लोगों तक पहुँचाना। मैंने अपनी शिक्षा DCA, BCA और MCA मे पुर्ण की है, तो तकनीक मेरा आधार है और लेखन मेरा जुनून हैं । मेरे लिए हर कहानी, हर विचार एक मौका है दुनिया को कुछ नया देने का ।

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