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Sun, Dec 7, 2025

देश के टॉप स्कूलों में शामिल हैं KVS और NVS, जानें इनकी खासियत और अंतर

Written by:Diksha Bhanupriy
केंद्रीय विद्यालय और नवोदय विद्यालय दोनों ही देश के टॉप सरकारी स्कूलों में से एक हैं। यहां अपने बच्चों का एडमिशन करवाने के लिए पेरेंट्स भी बहुत मेहनत करते हैं। चलिए हम आपको इन दोनों स्कूलों के बीच के अंतर के बारे में बताते हैं।
देश के टॉप स्कूलों में शामिल हैं KVS और NVS, जानें इनकी खासियत और अंतर

हर पेरेंट्स ये चाहते हैं कि वह अपने बच्चों को अच्छे स्कूल में एजुकेशन दें। कई सारे बड़े-बड़े और प्रसिद्ध स्कूल मौजूद भी हैं। जहां एडमिशन करवाने के लिए पेरेंट्स के बीच होड़ देखने को मिलती है। अगर हम आपको कहें की यह स्कूल सरकारी है तो आप क्या करेंगे।

सरकारी स्कूल का नाम सुनकर अक्सर लोगों को यह लगता है कि वहां पर बच्चों को क्या ही एजुकेशन मिल पाएगी। लेकिन देश में दो ऐसे प्रसिद्ध सरकारी स्कूल मौजूद हैं, जो एजुकेशन के मामले में प्राइवेट स्कूलों को भी पीछे छोड़ देते हैं। हम बात कर रहे हैं KVS और NVS स्कूलों की जिन्हें हम केंद्रीय विद्यालय और नवोदय विद्यालय के नाम से पहचानते हैं। देश के टॉप स्कूल है जहां बच्चों को पढ़ाना हर पेरेंट्स का सपना होता है।

क्यों चुने जाते हैं NVS और KVS

अधिकतम माता-पिता अपने बच्चों के लिए केंद्रीय विद्यालय में नवोदय विद्यालय चुनते हैं। यह दोनों ही स्कूल अपनी एजुकेशन क्वालिटी के लिए पहचाने जाते हैं। यहां बच्चों को हाई क्वालिटी एजुकेशन के अलावा अन्य सुविधाएं भी प्रदान की जाती है जो उनके बेहतर भविष्य का निर्माण करती है। वैसे तो यह दोनों सरकारी स्कूल हैं लेकिन इनमें कुछ अंतर भी है। चलिए हम आपको इन दोनों के बीच के अंतर के बारे में बताते हैं।

क्या है KVS केंद्रीय विद्यालय

केंद्रीय विद्यालय देशभर में मौजूद है जो लोगों के बीच बहुत प्रसिद्ध है। वैसे तो यहां सभी बच्चों को एडमिशन मिल जाता है लेकिन सबसे पहले यहां केंद्रीय सरकारी कर्मचारियों के बच्चों को प्रवेश दिया जाता है। इसके पास जो बची हुई सिम होती है वहां पर अन्य छात्रों को मौका दिया जाता है।

क्या है विशेषता

केंद्रीय विद्यालय की विशेषता की बात करें तो यहां पर पढ़ाई पूरी तरह से सीबीएसई पैटर्न पर होती है। यहां का इंफ्रास्ट्रक्चर, कल्चरल एक्टिविटी, लैब और आधुनिक सुविधाएं इसे दूसरी जगह से बेहतर बनाती है। सबसे अच्छी बात यह है कि यहां की फीस फिक्स्ड है जिसमें कभी भी बदलाव नहीं किया जाता। सरकारी कर्मचारियों का ट्रांसफर होने पर उनके बच्चों को शहर और राज्य बदलने पर आसानी से दूसरे स्कूल में एडमिशन भी मिल जाता है। केंद्रीय विद्यालय के जितने भी सेंटर देश भर में चल रहे हैं वहां पर एक ही तरह की पढ़ाई करवाई जाती है जिससे बच्चों को कोर्स चेंज होने का डर भी नहीं रहता।

क्या है NVS नवोदय विद्यालय

नवोदय विद्यालय की बात करें तो जवाहर नवोदय विद्यालय के नाम से पहचाना जाता है। यहां पर बच्चों को मुफ्त में आवासीय शिक्षा प्रदान की जाती है। रहने के लिए हॉस्टल की सुविधा उपलब्ध होती है जहां पर बच्चों के संगी विकास पर ध्यान दिया जाता है और उच्च गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान की जाती है। नवोदय में बच्चों का प्रवेश कक्षा 6, 9 और 11 में होता है। इसके लिए एग्जाम देनी होती है और एग्जाम क्लियर करने वाले बच्चों को एडमिशन मिलता है।

क्या है खासियत

नवोदय विद्यालय में बच्चों को पूरी तरह से सीबीएसई पैटर्न की पढ़ाई करवाई जाती है। मिनिमम चार्ज के बाद यहां शिक्षा पूरी तरह से मुफ्त है। बच्चों को रेजिडेंशियल सुविधा भी प्रदान की जाती है। ग्रामीण बच्चों को अक्सर अवसर दिया जाता है। उसके हर राज्य में काम से कम एक नवोदय विद्यालय मौजूद है जो बच्चों को उच्च गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान करता है।

कैसी है एडमिशन प्रोसेस

नवोदय विद्यालय में एडमिशन के लिए एक टेस्ट होता है। यहां एडमिशन कक्षा 6, 9 और 11 में मिलते हैं। वहीं केंद्रीय विद्यालय में प्रवेश के लिए 1 से लेकर 12वीं तक किसी भी क्लास में आवेदन दिया जा सकता है। इसके लिए टेस्ट होता है फिर मेरिट, ट्रांसफर और खाली सीटों के आधार पर प्रवेश मिलता है।

दोनों में क्या है अंतर

केंद्रीय विद्यालय नवोदय विद्यालय में अंतर की बात करें तो KVS में पढ़ने वाले बच्चों को ट्रांसफर की सुविधा मिलती है। वहीं NVS में पढ़ने वाले बच्चों को उच्च गुणवत्ता की शिक्षा के साथ रेसिडेंशियल सुविधा भी प्रदान की जाती है। दोनों ही स्कूलों की एजुकेशन और सुविधाएं देश में टॉप पर है। बच्चों की एजुकेशन के लिए यह बेहतरीन गवर्नमेंट ऑप्शन है।