सरकारी कर्मचारियों के लिए महत्वपूर्ण खबर, राज्य सरकार ने जारी किया ये आदेश, करना होगा पालन

शासकीय अधिकारियों और कर्मचारियों के लिए वाहन चलाते समय सीट बेल्ट और हेलमेट का उपयोग अनिवार्य किया गया है। मुख्य सचिव अमिताभ जैन ने प्रदेश के सभी विभागों, संभागायुक्तों और कलेक्टरों को इस संबंध में सख्त निर्देश जारी किए हैं।

Pooja Khodani
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CG Employees News: छत्तीसगढ़ के लाखों सरकारी कर्मचारियों के लिए महत्वपूर्ण खबर है। राज्य सरकार ने करीब सवा चार लाख शासकीय अधिकारियों कर्मचारियों के लिए वाहन चलाते समय सीट बेल्ट और हेलमेट का उपयोग अनिवार्य कर दिया है। यह कदम सड़क दुर्घटनाओं में शासकीय कर्मचारियों की मौत पर चिंता जताते हुए उठाया गया है।

दरअसल, शासकीय सेवकों द्वारा वाहन चालन के समय हेलमेट और सीटबेल्ट का उपयोग करना अनिवार्य कर दिया गया है। मोटरयान संशोधन अधिनियम 2019 में वाहन चालन के समय नियमानुसार सुरक्षा बेल्ट एवं हेलमेट के उपयोग के प्रावधान के अनुसार समस्त वाहन चालकों द्वारा धारण किया जाना अनिवार्य है। इस संबंध में छत्तीसगढ़ के मुख्य सचिव अमिताभ जैन ने सभी विभागाध्यक्षों, IG, कमिश्नर, कलेक्टर और SP को निर्देश जारी किए हैं।

मुख्य सचिव ने जारी किए ये निर्देश

  • इस संबंध में मुख्य सचिव अमिताभ जैन ने राज्य शासन के समस्त विभागों, विभागाध्यक्ष, अध्यक्ष राजस्व मंडल बिलासपुर, सभी संभागायुक्त, पुलिस महानिरीक्षक रेंज, समस्त कलेक्टर और पुलिस अधिक्षकों को अपने अधिनस्त सभी शासकीय कर्मियों को सुरक्षा बेल्ट एवं हेलमेट का उपयोग सुनिश्चित करने कहा है।
  • सभी जिलों के कलेक्टरों और पुलिस अधीक्षकों को भी सड़क दुर्घटनाओं के कारणों की समीक्षा करने और सुधारात्मक उपाय करने को भी कहा है। शासकीय कर्मचारियों से अपेक्षा की गई है कि वे हेलमेट और सीट बेल्ट का स्वयं उपयोग कर आम नागरिकों को प्रेरित करें।
  • साथ ही निर्देश दिए है कि सभी शासकीय सेवकों द्वारा स्वयं एवं उनके परिजन और जनसामान्य की सुरक्षा के साथ-साथ नियमों के अनुपालन की प्रतिबद्धता का आदर्श प्रस्तुत करना चाहिए। इसी तरह से सभी को नियमों का पालन करना आवश्यक है, जिससे सड़क दुर्घटनाएं नही हो।

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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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