केवल 3 एपिसोड की ये हिंदी हॉरर सीरीज कंपा देगी आपकी भी रूह! जानिए नाम और IMDb रेटिंग

नेटफ्लिक्स की ‘Ghoul’ सिर्फ एक हॉरर सीरीज नहीं है, बल्कि यह डर और सच्चाई का ऐसा कॉम्बिनेशन है जिसे देखकर आपकी आत्मा तक कांप जाएगी। राधिका आप्टे की दमदार एक्टिंग और सीरीज की गहराई इसे भारतीय ओटीटी पर सबसे अलग बनाती है। अगर आपको लगता है कि भूत-प्रेत की कहानियां अब डरावनी नहीं लगतीं, तो यह शो आपकी सोच बदल देगा।

नेटफ्लिक्स की ‘Ghoul’ एक ऐसी वेब सीरीज है जो सिर्फ डराने के लिए नहीं बनाई गई, बल्कि यह दर्शकों को सोचने पर भी मजबूर कर देती है। कुल तीन एपिसोड की यह मिनी-सीरीज देखने में भले छोटी हो, लेकिन इसका असर लंबे समय तक बना रहता है। इसमें डरावने सीन तो हैं ही, साथ ही यह सरकार, सत्ता और समाज पर भी तीखा कमेंट करती है।

घोल में राधिका आप्टे ने नीदा रहीम का रोल निभाया है, जो एक मिलिट्री इंटेरोगेटर है। वह एक ऐसे सिस्टम का हिस्सा बनती है जो हर शक करने वाले को दुश्मन मानता है। कहानी उस वक्त मोड़ लेती है जब एक रहस्यमयी कैदी को इंटरोगेट करने के लिए लाया जाता है। उसका अजीब बर्ताव और नीदा की उससे जुड़ती सोच, सीरीज को और डरावना बना देती है। नीदा का किरदार ऐसा है जो शुरुआत में सिस्टम पर भरोसा करता है, लेकिन जैसे-जैसे सच सामने आता है, वह खुद सवाल उठाने लगती है। राधिका की परफॉर्मेंस सीरीज को रियल और असरदार बनाती है।

इस सीरीज की खासियत क्या है?

Ghoul सिर्फ एक हॉरर सीरीज नहीं, बल्कि यह भारतीय समाज और राजनीति के अंधेरे कोनों को छूने की कोशिश करती है। इसकी कहानी एक ऐसे फ्यूचर भारत की कल्पना करती है जहां सरकार पूरी तरह से कंट्रोल में है और विरोध करना अपराध माना जाता है। इस बैकड्रॉप में कहानी एक ऐसे डिटेंशन सेंटर की है, जहां एक कैदी लाया जाता है जो सिर्फ इंसानों को ही नहीं, उनके गुनाहों को भी पहचान सकता है। यह कांसेप्ट भारतीय हॉरर में कुछ नया लाता है यहां भूत-प्रेत से ज्यादा डर इंसानों और उनके सिस्टम से है। सीरीज के विजुअल्स, साउंड डिजाइन और सिनेमैटोग्राफी इतना शानदार है कि डर बिना ओवरड्रामैटिक हुए आपके अंदर उतरता है। किसी जंप स्केयर पर निर्भर नहीं रहकर यह मनोवैज्ञानिक डर पैदा करती है। खास बात ये है कि सीरीज छोटे फॉर्मेट में भी पूरी स्टोरी कह देती है और किसी सीक्वल की जरूरत नहीं छोड़ती।

क्यों देखें Ghoul?

दरअसल Ghoul को दर्शकों और क्रिटिक्स से काफी तारीफ मिली है। IMDb पर इसे 7/10 की रेटिंग मिली है जबकि Rotten Tomatoes पर इसे 83% अप्रूवल स्कोर मिला। यह बताता है कि इसने सिर्फ भारतीय ही नहीं, इंटरनेशनल ऑडियंस को भी प्रभावित किया है। एक्सपर्ट्स का मानना है कि Ghoul जैसे कॉन्टेंट की भारतीय ओटीटी पर जरूरत है, जो एंटरटेनमेंट के साथ-साथ सोचने की खुराक भी दे। इसकी तुलना कई हॉलीवुड मिनी-सीरीज से की गई है, खासकर उन सीरीज से जो dystopian थीम और गहरे सामाजिक मैसेज के साथ आती हैं। अगर आप हॉरर पसंद करते हैं, लेकिन उसमें सेंस और सस्पेंस भी चाहते हैं, तो Ghoul आपके लिए परफेक्ट है।


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Ronak Namdev

Ronak Namdev

मैं रौनक नामदेव, एक लेखक जो अपनी कलम से विचारों को साकार करता है। मुझे लगता है कि शब्दों में वो जादू है जो समाज को बदल सकता है, और यही मेरा मकसद है - सही बात को सही ढंग से लोगों तक पहुँचाना। मैंने अपनी शिक्षा DCA, BCA और MCA मे पुर्ण की है, तो तकनीक मेरा आधार है और लेखन मेरा जुनून हैं । मेरे लिए हर कहानी, हर विचार एक मौका है दुनिया को कुछ नया देने का ।

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