वरिष्ठ कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने इंडिगो के ऑपरेशनल क्राइसिस पर कहा है कि निजी संस्थाओं को अपनी जिम्मेदारी निभानी चाहिए..लेकिन यहां ऐसा नजर नहीं आ रहा है। उन्होंने कहा कि वे खुद तीन दिन पहले इस समस्या का सामना कर चुके हैं जब दिल्ली से मुंबई जाने वाली उनकी फ्लाइट साढ़े तीन घंटे देरी से चली। एमपी के पूर्व सीएम ने कहा कि इस पूरे मामले पर न तो सरकार की तरफ से, न ही इंडिगो मैनेजमेंट द्वारा कोई स्पष्टीकरण आया है।
भारत की सबसे बड़ी एयरलाइन इंडिगो का संकट शनिवार को भी जारी रहा। पिछले 24 घंटों में कंपनी ने छह सौ से ज्यादा उड़ानें रद्द की, जबकि बारह सौ से ज्यादा उड़ानें देरी से चलीं। दिल्ली, मुंबई, बेंगलुरु, हैदराबाद और कोलकाता एयरपोर्ट पर हजारों यात्री घंटों इंतज़ार करते रहे। इसे लेकर लोग लगातार सोशल मीडिया पर अपने अनुभव, फोटो और वीडियो डाल रहे हैं और जैसी तस्वीरें सामने आ रही हैं उससे पता चलता है कि यात्री कितनी मुश्किलों का सामना कर रहे हैं।
दिग्विजय सिंह की फ्लाइट हुई लेट, एयरलाइंस और सरकार से किए सवाल
कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने इंडिगो संकट को लेकर चिंता व्यक्त की है। एएनआई से बात करते हुए उन्होंने कहा है कि “इंडिगो हमेशा से भरोसे की एयरलाइन हुआ करती थी। आखिर एकदम ये क्यों हुआ..क्या हुआ। इसके बारे में कोई स्पष्टीकरण सरकार की तरफ से भी नहीं आया है न इंडिगो के मैनेजमेंट की तरफ से आया है। पिछले तीन दिन से लोग परेशान हैं। मैं खुद दिल्ली से मुंबई जा रहा था तो मेरी फ्लाइट साढ़े तीन घंटे लेट गई। इसकी पूरी जानकारी आना चाहिए कि ऐसा क्यों हो रहा है। जैसे धीरे धीरे निजीकरण हो रहा है, तो प्राइवेट संस्थाओं की जैसी जिम्मेदारी होनी चाहिए वो जिम्मेदारी समझ नहीं आ रही है। इसका कोई हल निकालना चाहिए।”
केंद्र सरकार ने दिए इंडिगो और अन्य एयरलाइंस को निर्देश
इंडिगो जिस संकट का सामना कर रही है, उसकी शुरुआत एक महीने पहले लागू हुए नए क्रू ड्यूटी नियमों से हुई। नए फ्लाइट ड्यूटी टाइम लिमिटेशन (FDTL) नियमों के कारण क्रू की कमी की समस्या पैदा हुई। DGCA नियमों ने पायलटों और क्रू के रेस्ट टाइम को बढ़ा दिया, नाइट ड्यूटी स्लॉट सीमित कर दिए जिससे इंडिगो जैसी हाई-वॉल्यूम एयरलाइन पर सबसे ज्यादा असर पड़ा। पिछले चार दिनों में 1,000 से अधिक उड़ानें रद्द हो चुकी हैं, हजारों यात्री एयरपोर्ट्स पर फंसे हैं और अन्य एयरलाइंस के किराए आसमान छू रहे हैं। इसे देखते हुए केंद्र सरकार ने कड़ा कदम उठाते हुए सभी एयरलाइंस पर हवाई किराए की सीमा लगा दी है। नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने शनिवार को निर्देश जारी करते हुए कहा कि प्रभावित रूट्स पर किराए में उछाल रोकने के लिए निर्धारित कैप का सख्ती से पालन किया जाए। इसी के साथ सरकार ने इंडिगो को निर्देश दिया है कि वो रविवार रात तक यात्रियों का पैसा रिफंड करे।





