हरियाणा पुलिस ने वीआईपी सिक्योरिटी को लेकर बड़ी कार्रवाई की है। दरअसल, 72 वीआईपी की सिक्योरिटी हटा दी गई है। यह फैसला जिला स्तर पर सिक्योरिटी को लेकर हुई रिव्यू मीटिंग में लिया गया है। दरअसल रिव्यू हरियाणा में थ्रेट और एक्सटॉर्शन कॉल के आधार पर दी गई सिक्योरिटी पर पुलिस ने किया था। 72 वीआईपी की सिक्योरिटी वापस लेने से 200 से ज्यादा पीएसओ को ड्यूटी से वापस बुलाया गया है। इसकी जानकारी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से डीजीपी ओपी सिंह ने खुद दी है।
स्पेशल डीजीपी ओपी सिंह की ओर से सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पोस्ट करते हुए लिखा गया कि इसे लेकर लगातार रिव्यू किया जाता रहेगा। अब सुरक्षा केवल उन्हीं को मिलेगी जिन्हें वास्तविक खतरा है। ऐसे में हरियाणा पुलिस की ओर से लिए गए इस फैसले को बड़ी कार्रवाई के रूप में देखा जा रहा है।
🚨 #Breaking | हरियाणा पुलिस की बड़ी कार्रवाई 🚨
राज्यभर में थ्रेट/एक्सटॉर्शन कॉल के आधार पर दी गई सुरक्षा की जिला स्तर पर समीक्षा के बाद
👉 72 की सुरक्षा हटाई गई
👉 200+ PSO ड्यूटी से वापस लिए गए
समीक्षा लगातार किया जाता रहेगा
अब सुरक्षा केवल उन्हीं को — जिन्हें वास्तविक खतरा!…— Haryana Police (@police_haryana) December 11, 2025
पिछले कुछ समय में हरियाणा पुलिस ने लिए बड़े फैसले
जानकारी दे दें कि इस सिक्योरिटी रिव्यू मीटिंग से पहले भी हरियाणा पुलिस की ओर से कई बड़े फैसले लिए गए थे। हाल ही के समय में जजपा के कुछ बड़े चेहरों की सिक्योरिटी हटाई गई है। जजपा के इनमें बड़े चेहरों में पूर्व डिप्टी सीएम दुष्यंत चौटाला के भाई दिग्विजय चौटाला, दुष्यंत चौटाला के ससुर पूर्व एडीजीपी परमजीत सिंह अहलावत और जीजा देवेंद्र कादियान जैसे नाम शामिल हैं। इतना ही नहीं, हरियाणा पुलिस ने बड़ा फैसला लेते हुए हरियाणवी सिंगर राहुल फाजिलपुरिया की भी सिक्योरिटी वापस ले ली है और युवा जेजेपी नेता विनेश गुर्जर की भी सिक्योरिटी वापस ले ली गई है। बता दें कि 10 दिसंबर को जींद में हुई रैली में जेजेपी आएगी हरियाणवी सिंगर राहुल फाजिलपुरिया द्वारा ही गाया गया था।
दिग्विजय चौटाला ने साधा डीजीपी ओपी सिंह पर निशाना
ऐसे में जेजेपी के यूथ प्रदेश अध्यक्ष दिग्विजय चौटाला ने आज मीडिया से बात करते हुए डीजीपी ओपी सिंह पर तीखा हमला किया। दरअसल, दिग्विजय चौटाला ने कहा कि डीजीपी भारतीय जनता पार्टी के एडवोकेट थोड़ी ही हैं, एजेंट थोड़ी ही हैं। डीजीपी तो प्रदेश के नौकर हैं। पहले चौधरी देवीलाल अधिकारियों को गांव में ले जाते थे, मगर अब हालात बदल चुके हैं। नौकर होते हुए भी बॉस बनकर बैठे हैं, तानाशाह बनकर बैठे हैं। ओपी सिंह उनमें से एक हैं। दरअसल, दिग्विजय चौटाला का कहना है कि नायब सैनी को अब समझ जाना चाहिए कि ओपी सिंह विनाशकाल पर चल चुके हैं। ओपी सिंह ने यह फैसला कर लिया है कि प्रदेश का बेड़ा गर्क करके ही छोड़ूंगा।





