मध्यप्रदेश में बढ़ाए जा सकते है बिजली के दाम, ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर दिए संकेत

Pooja Khodani
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Electricity employees

भोपाल, डेस्क रिपोर्ट। कोरोना संकटकाल (Corona Crisis) में मंहगाई और पेट्रोल-डीजल (Petrol-Diesel) के बढ़े दामों की मार झेल रही  मध्यप्रदेश (Madhya Pradesh) की जनता को एक बार फिर बड़ा झटका लगने वाला है। आने वाले दिनों में एक बार फिर बिजली के दाम बढ़ाने वाले है। ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) के समर्थक और शिवराज सरकार (Shivraj Government) में ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर  (Pradyuman Singh Tomar)  ने इस बात के संकेत दिए है।

जबलपुर (Jabalpur) में मीडिया से चर्चा के दौरान ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने कहा कि बिजली कंपनियों (Power Companies) के खर्चों की पूर्ति जरूरी है, लेकिन यह किस तरह की जा सकती है इसका आकलन होगा। फिलहाल कंपनियों में सुधार और खर्चों की समीक्षा की जा रही है। यदि फिर भी आय के स्त्रोत पर्याप्त नहीं होंगे तो जरूरी होने पर दाम बढ़ाया भी जा सकता है।हालांकि गरीबों के हित का ध्यान सरकार रखेगी।

इसके अलावा इंदिरा गृह ज्योति योजना (Indira Gruh Jyoti Yojana) पर उन्होंने पात्र हितग्राहियों की पहचान का जिक्र किया।  उन्होंने ये भी कहा कि विद्युत नियामक आयोग (Electricity Regulatory Commission) जो तय करेगा उसे हम जरूर मानेंगे। उनकी इस बात से ये तो साफ हो गया है कि आने वाले दिनों में अगर बिजली के दाम (Electricity Prices) बढ़ते हैं तो इसमें सरकार का पूरी तरह से समर्थन रहेगा।

कांग्रेस बोली -विधायक ख़रीदी से गड़बड़ाया बजट 

ऊर्जा मंत्री तोमर के इस बयान के बाद एमपी कांग्रेस ने भी शिवराज सरकार पर हमला बोला है। एमपी कांग्रेस (MP Congress) ने ट्वीट (Tweet) कर लिखा है कि मप्र मतलब “महँगा प्रदेश”, विधायक ख़रीदी से बजट गड़बड़ाया।मध्यप्रदेश में सबसे महँगा डीज़ल-पेट्रोल बेचने वाली चोरी की सरकार ने गैस सिलेंडर के दाम बढ़ा दिये हैं और बिजली के भी दाम बढ़ाने जा रही है।शिवराज जी, प्रदेश नहीं संभलता तो छोड़ दो, जनता को लूटकर कब तक चेहरा चमकाओगे..?

 

 


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खबर वह होती है जिसे कोई दबाना चाहता है। बाकी सब विज्ञापन है। मकसद तय करना दम की बात है। मायने यह रखता है कि हम क्या छापते हैं और क्या नहीं छापते। "कलम भी हूँ और कलमकार भी हूँ। खबरों के छपने का आधार भी हूँ।। मैं इस व्यवस्था की भागीदार भी हूँ। इसे बदलने की एक तलबगार भी हूँ।। दिवानी ही नहीं हूँ, दिमागदार भी हूँ। झूठे पर प्रहार, सच्चे की यार भी हूं।।" (पत्रकारिता में 8 वर्षों से सक्रिय, इलेक्ट्रानिक से लेकर डिजिटल मीडिया तक का अनुभव, सीखने की लालसा के साथ राजनैतिक खबरों पर पैनी नजर)

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