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Sun, Dec 21, 2025

कमलनाथ ने MP में शिक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाया, आरोप ‘BJP सरकार की पढ़ाने में रुचि नहीं’, शिक्षकों के 70 हज़ार खाली पद भरने की मांग

Written by:Shruty Kushwaha
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कांग्रेस नेता ने भाजपा सरकार पर शिक्षा को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि सरकारी स्कूलों में मौजूदा शिक्षकों में से 15 हज़ार ऐसे हैं जो शैक्षणिक कार्य करने की जगह दूसरे कामों में लगाए गए हैं। पूर्व सीएम ने कहा कि मध्य प्रदेश बोर्ड की दसवीं और बारहवीं के परीक्षा परिणाम पहले ही साबित कर चुके हैं कि प्रदेश में शिक्षा का स्तर गिरता जा रहा है।
कमलनाथ ने MP में शिक्षा व्यवस्था पर सवाल उठाया,  आरोप ‘BJP सरकार की पढ़ाने में रुचि नहीं’, शिक्षकों के 70 हज़ार खाली पद भरने की मांग

Kamal Nath on Govind Singh Rajput Remark

पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने एमपी सरकार पर प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था को लेकर गंभीर आरोप लगाए हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश के सरकारी स्कूलों में 70,000 शिक्षकों के पद खाली पड़े हैं..जबकि मौजूदा शिक्षकों में से 15,000 शिक्षक शैक्षणिक कार्य छोड़कर अन्य विभागीय कार्यों में लगे हुए हैं।

उन्होंने कहा कि प्रदेश में स्कूली शिक्षा की हालत अत्यंत दयनीय है। मध्य प्रदेश बोर्ड की दसवीं और बारहवीं के परीक्षा परिणाम पहले ही साबित कर चुके हैं कि प्रदेश में शिक्षा का स्तर गिरता जा रहा है। इसी के साथ उन्होंने सरकार से मांग की कि इन खाली 70, हज़ार शिक्षकों के पदों पर भर्ती की प्रक्रिया जल्द से जल्द शुरू की जाए।

कमलनाथ ने शिक्षा के मुद्दे पर सरकार को घेरा

कमलनाथ ने मीडिया रिपोर्ट्स का हवाला देते हुए कहा है कि मध्यप्रदेश के सरकारी स्कूलों में सत्तर हज़ार शिक्षकों की कमी है, जिसके चलते बच्चों की पढ़ाई पर गंभीर असर पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि मौजूदा समय में पंद्रह हज़ार ऐसे शिक्षक हैं शैक्षणिक कार्यों के बजाय अन्य कामों में लगाए गए हैं। इसके अलावा 1275 स्कूलों में एक भी शिक्षक नहीं है, जबकि 6858 स्कूल ऐसे हैं जहां सिर्फ एक शिक्षक नियुक्त है।

खाली पद जल्द से जल्द भरने की मांग 

कांग्रेस नेता ने आरोप लगाया कि ‘भाजपा सरकार की इच्छा स्कूलों में पढ़ाई कराने की नहीं है और जानबूझकर बच्चों को शिक्षा से वंचित करने का षड्यंत्र रचा जा रहा है।’ उन्होंने मांग की कि खाली सत्तर हज़ार शिक्षकों के पदों पर भर्ती की प्रक्रिया शीघ्र शुरू की जाए जि इससे ना सिर्फ़ बच्चों को बेहतर पढ़ाई मिल पाएगी बल्कि प्रदेश में योग्य बेरोजगारों को सम्मानजनक नौकरी भी मिलेगी।