MP Congress/BJP : मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव का समय जैसे जैसे नजदीक आता जा रहा है वैसे वैसे जुबानी जंग भी तेज होती जा रही है। सत्ता पक्ष हो या विपक्ष दोनों ही एक दूसरे घेरने का मौका नहीं छोड़ रहे है। खास करके हिन्दुत्व कार्ड पर जमकर सियासत हो रही है।सोनिया भक्त कांग्रेसी जो चुनावी राम भक्त बन रहे थे उनकी बाबर भक्ति सामने आ गयी है जिस कांग्रेस के मन में आज भी ‘बाबरी ढांचा शहीदी’ की पीड़ा है, उनका चुनावी राम भक्त बनना केवल और केवल पाखंड है, सोनिया गांधी के इशारे पर कांग्रेसी बाबरी ढांचा शहिदी की पीड़ा बता रहे है।
माफी मांगे प्रियंका
वीडी शर्मा ने कहा कि अब 22 जनवरी 2024 ये वे तारीख है जब प्रभु श्री राम अपने मंदिर में विधि विधान से विराजित होंगे। 5 शताब्दियों से प्रतिक्षा वाली यह घड़ी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने देश के साथ जब से साझा की है तब से सनातन विरोधी कांग्रेसियों मेंं खलबली मची है। जो सोनिया भक्त कांग्रेसी चुनावी राम भक्त बन रहे थे उनका बाबर के प्रति प्रेम बाहर निकलने लगा है। कभी कांग्रेसी प्रभु श्री राम के होर्डिग की शिकायत करते है तो कभी बाबरी ढांचा की शाहदत पर अपने मन की पीडा को बाहर लाते है। कांग्रेस का यह चरित्र मुंह में राम बगल में छुरी को चरितार्थ कर रहा है। सोनिया गांधी के इशारे पर कांग्रेस मीडिया विभाग के अध्यक्ष का बयान कांग्रेस का मुगलों के प्रति प्रेम और सनातन के प्रति घृणा को प्रदर्शित करता है। प्रियंका गांधी आज दमोह के दौर पर है उन्हें देश के हिन्दुओं से सार्वजनिक माफी मांगनी चाहिए।
आस्थाओं के साथ खिलवाड़ और मजाक स्वीकार नहीं
शर्मा ने कहा कि चुनाव आएंगे, जाएंगे राजनीति होती रहेगी पर आस्थाओं के साथ खिलवाड़ और मजाक देश स्वीकर नहीं करेगा। जिन कांग्रेसियों के मन में और जुबान पर आज भी ‘बाबरी ढांचा शहीदी’ की पीड़ा है, उनका चुनावी राम भक्त बनना केवल और केवल पाखंड है। कांग्रेस की असली दिक्कत प्रभु श्रीराम जन्मभूमि मंदिर में प्राण प्रतिष्ठा से और श्री राम से है। कांग्रेस को घृणा सनातन से तो थी ही, अब नफरत का स्तर इतना बढ़ गया है कि कांग्रेस को राम मंदिर के चित्र वाले होर्डिंगों से भी पीड़ा होने लगी है। ऐसा क्यों है जब भी राम मंदिर निर्माण से जुड़ा कोई सुखद कार्य होने लगता है कांग्रेस का दर्द बढ़ जाता है। याद रहे कि बाबरी विध्वंस के बाद भाजपा की चार राज्य सरकारों को तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने बरखास्त किया था, जिसमें मध्य प्रदेश की भाजपा सरकार भी शामिल थी, जिसे बाद में सुप्रीमकोर्ट ने असंवैधानिक बताया था। तत्कालीन कांग्रेस सरकार ने अयोध्या में रामजन्मभूमि पर बाबरी ढांचा को फिर से बनाने का संकल्प लिया था, यह निर्णय लेने वाली सरकार में सनातन विरोधी कमलनाथ प्रमुखता से शामिल थे।
कांग्रेस को भी भगवान राम को होर्डिंग लगाने चाहिए
शर्मा ने आगे कहा कि यह तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के कार्यकाल का असर है और हमारी हिंदुत्व के विचारों की विजय कि बाबरी के पैरोकार कमलनाथ आज राम मंदिर को सनातन का मंदिर बता रहे हैं। कांग्रेस कहती है भगवान राम देश के है, बिल्कुल सही है फिर कांग्रेस को भी भगवान राम को होर्डिंग लगाने चाहिए लेकिन अगर उनका राम प्रेम छद्म है और बाबर प्रेम सर्वापरी है, तो वह जाकर बाबर के होर्डिंग लगाये।
चुनावी साल में भेष बदलकर घूम रहे सनातनी विरोधी
विष्णुदत्त शर्मा ने कहा कि इतिहास साक्षी है, जब जब राक्षसी प्रवृत्तियां, सनातन विरोधी ताकतें अपने पापाचार को बढ़ाने की कोशिश करती हैं, तो वह छलपूर्वक वेष बदलकर सामने आती हैं, रावण जब माता सीता का हरण करने आया तो साधु बनकर आया था और जब कसाब भी मुंबई हमले के लिये आया तो हाथ पर कलावा बांधकर आया था। यह सब सनातनी विरोधी थे, जो सनातन को मिटाने की धारणा से आये थे। यही वर्तमान में हो रहा है। अब चुनावी साल में सनातन को मिटाने की धारणा रखने वाले, हिन्दुओं से नफरत करने वाले कांग्रेसी, छद्म सनातनी वेष धारण कर के घूम रहे हैं।
64 हजार 523 पर कार्यकर्ता पहुंचाएंगे मोदी जी का पत्र
वीडी शर्मा ने कहा कि 29 अक्टूबर को प्रदेश के 64 हजार 523 बूथों पर भाजपा के 41 लाख कार्यकर्ता प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के मन की बात कार्यक्रम को सुनकर प्रदेश को लिखी गई उनकी स्नेहिल चिट्ठी को घर-घर तक पहुंचाने का काम करेंगे। मध्यप्रदेश की जनता के मन में पीएम श्री मोदी हैं और पीएम मोदी जी के मन में मध्यप्रदेश की साढ़े नौ करोड़ जनता है।