भोपाल।
देशव्यापी लॉकडाउन(lockdown) के बीच प्रवासी मजदूरों के लिए आवाज़ उठाने पर झाबुआ विधायक कांतिलाल भूरिया(kantilal bhuriya) पर एफआईआर(FIR) दर्ज किया गया है। जिसको लेकर कांग्रेस(congress) ने कहा है कि ये जनप्रतिनिधि की आवाज़ को कुचलने का प्रयास है। कांतिलाल भूरिया पर एफआईआर होने के बाद पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने ट्वीट कर सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला है।
दरअसल पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा है कि जब यूपी सरकार के पहल के बाद प्रदेश में कोटा से बच्चों को लाने का मुद्दा हमने उठाया था। वहीं पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने कहा कि मध्यप्रदेश के प्रवासी मजदूरों, आदिवासी भाई बड़ी संख्या में गुजरात, महाराष्ट्र, राजस्थान एवं अन्य राज्यों में फस गए है। दोहरी मार झेल रहे वो मजदूर रोजगार छीन जाने के साथ साथ भुखमरी के कगार पर हैं। उन्हें वापस लाना चाहिए। कांतिलाल भूरिया का समर्थन करते हुए कमलनाथ ने कहा कि हमारे विधायक साथी कांतिलाल भूरिया ने जब अपने क्षेत्र के हज़ारों आदिवासी भाइयों को प्रदेश वापस लाने की आवाज़ उठायी तो शिवराज सरकार ने उन पर प्रकरण दर्ज कर लिया। हम इस दमनपूर्ण कार्यवाही की निंदा करते है। वहीं उन्होंने सरकार से मांग करते हुए कहा है कि हम सरकार से माँग करते है कि वो हठधर्मिता छोड़ प्रदेश के हज़ारों आदिवासी भाइयों, प्रवासी मज़दूरों को वापस प्रदेश लाने का कार्य करे।
बता दें कि झाबुआ विधायक कांतिलाल भूरिया ने अपने इलाके के हजारों प्रवासी मजदूरों की समस्याओं पर विचार करने को लेकर ज्ञापन सौंपा था। जिसको लेकर सरकार ने सुनवाई से मना कर दिया था। जिसके बाद इस लॉक डाउन के बीच सोशल डिस्टेंसिग का पालन करते हुए सरकार पर तानाशाही का आरोप लगाते हुए धरने पर बैठ गए थे। जिनके साथ झाबुआ विधायक के बेटे विक्रांत भूरिया और कॉन्ग्रेस कार्यकर्ता भी शामिल थे। जिनके बाद लॉक डाउन का उल्लघंन करने पर उन सबके खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।
यूपी सरकार ने सबसे पहले कोटा से अपने प्रदेश के छात्रों को बुलाया , तभी हमने प्रदेश सरकार से भी माँग की कि वो भी अपने प्रदेश के छात्रों को वापस कोटा से बुलाये।
1/4— Office Of Kamal Nath (@OfficeOfKNath) April 24, 2020
हमारे विधायक साथी कांतिलाल भूरिया ने जब अपने क्षेत्र के हज़ारों आदिवासी भाइयों को प्रदेश वापस लाने की आवाज़ उठायी तो शिवराज सरकार ने उन पर प्रकरण दर्ज कर लिया , हम इस दमनपूर्ण कार्यवाही की निंदा करते है।
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हमारे विधायक साथी कांतिलाल भूरिया ने जब अपने क्षेत्र के हज़ारों आदिवासी भाइयों को प्रदेश वापस लाने की आवाज़ उठायी तो शिवराज सरकार ने उन पर प्रकरण दर्ज कर लिया , हम इस दमनपूर्ण कार्यवाही की निंदा करते है।
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हम सरकार से माँग करते है कि वो हठधर्मिता छोड़ प्रदेश के हज़ारों आदिवासी भाइयों , प्रवासी मज़दूरों को वापस प्रदेश लाने का कार्य करे।
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