जबलपुर। शहर में फैला लंगड़ा बुखार, चिकिनगुनिया, किडनी की बढ़ते मरीज़ और लाइलाज सा हो गए वायरल ने लोगों का जीना दूभर कर दिया है। चिकित्सक भी तेजी से पनपी इन बिमारियों का कारण नहीं तलाश पाए। तो वहीं, आम लोगों के स्वास्थ्य से जुड़ा एक चैंकाने वाला खुलासा हुआ है। शहरवासियों को रोज़ाना स्वच्छ पानी की सप्लाई का दावा करने वाली नगर निगम बेपर्दा हुई है और ज़िम्मेदार कैमरे के सामने आने से भी बच रहे है।
आपको जानकर हैरानी होगी कि जबलपुर के 15 लाख परिवार रोजानो कोलीफाॅर्म युक्त पानी पी रहे है जो अंदर ही अंदर लोगो को मार रहा है। छोटी छोटी बोतलो मे दिख रहा ये गंदा पानी शायद ही कोई पी सकता है। लेकिन हैरानी होगी ये जानकार की यही गंदा पानी रोज़ाना जबलपुर के शहरवासियो को पिलाया जा रहा है। छोटी छोटी ये बोतलें माइक्रोबायोलाॅजिकल किट है जिसे मे जीवाणु परीक्षण किट भी कह सकते है। 79 वाॅर्ड वाले शहर जबलपुर मे अलग अलग स्थानो से करीब 100 से अधिक पानी के सैम्पल लिए गए जिनकी गुणवत्ता को जब जाना गया तो हैरान कर देने वाले परिणाम सामने आए। कोई पानी पूरी तरह काला हो गया तो कुछ मे बैक्टेरिया स्पष्ट दिखने लगे। इन सैम्पलो को देखने के बाद उसी पानी का टैस्ट जबलपुर मे पीएचई विभाग की डिस्ट्रिक्ट वाॅटर टैस्टिंग लैबोरेटरी मे किया गया तो रिपोर्ट मे सब कुछ साबित हो गया।अलग अलग सैम्पल की इस रिपोर्ट मे ये खुलासा हुआ है कि अधिकांष मे काॅलीफोर्म तय मानक से कई हजार गुना ज्यादा पाया गया जबकि ई कोली बैक्टेरिया की मात्रा भी काफी अधिक थी।
क्या है काॅलीफोर्म?
– काॅलीफाॅर्म एक बेहद हानीकारक बैक्टेरिया हे जो शरीर के अंदर जाकर कई घातक बिमारियाॅ फैलाता है। ये जानवारो मे पाया जाता है
– इससे बुखार , किडनी डैमेज, हयूमन बाॅडी मैलफंक्षनिंग जैसी कई घातक बिमारियाॅ होती है
– ये बैक्टेरिया आपके इम्यून सिस्टम को खत्म कर देता है और आपमे रोग प्रतिरोधक क्षमता खत्म हो जाती है ।
मामले में कांग्रेस ने इसे बंहद गंभीर मुददा माना है । उनका कहना है कि आम जनता के स्वास्थ्य के साथ नगर सत्ता खिलवाड कर रही है और हर साल करोड़ो की राषि पाइपलाइन विस्तार के नाम पर खर्च की जाती है जबकि आम जनता को सीवर का पानी पिलाया जा रहा है।
जबलपुर मे दूषित पानी सप्लाई होने के मामले मे जब हमने महापौर का बयान लेना चाहा तो उन्होंने बात करने से मना कर दिया….. बहरहाल भाजपा विधायक इंदु तिवारी दूषित पानी के इस खुलासे को गलत नही मानते बल्कि उनका कहना है कि वे और उनका परिवार लंबे समय से बीमार है और वो भी अपने घर के पानी की जाॅच करवाऐेंगे। जहाॅ तक महापौर का सवाल है तो जनप्रतिनिध को सच्चाई का डटकर सामना करना चाहिए।लाजमी है शहर बीमार हो रहा है और ज़िम्मेदार खोखले दावे करने से बाज़ नही आ रहे है। शहर कितना सुरक्षित पानी पी रहा है इसका खुलासा इन बातलो और लैबोरेटरी की इस रिपोर्ट मे हो रहा है । आम लोग भी बिमारियो से परेषान है लेकिन परेषानी वही कि आखिर मामले मे सुध ले तो कौन ।