घर पर बनाए चॉकलेट होगा खास, जाने घर पर कैसे बनाए चॉकलेट ?

Manisha Kumari Pandey
Updated on -

नई दिल्ली , डेस्क रिपोर्ट । Valentine week का पूरा हफ्ता बहुत खास होता है । रोज डे , चॉकलेट डे,  टेडी डे और अन्य कई तरीकों से लोग अपने प्यार का इजहार करते हैं। कल यानी 9 फरवरी को चॉकलेट डे है । इस दिन लोग अपने प्रेमियों और प्रियजनों को चॉकलेट उपहार में देते हैं। दुकान से खरीद कर  चॉकलेट देना काफी आम बात होता है , लेकिन यदि घर पर बना कर आप अपने प्रेमी और प्रियजनों को चॉकलेट गिफ्ट करें,  तो यह बहुत ही ज्यादा खास होगा। इसमे आपकी मेहनत के साथ आपका प्यार भी होगा ।  तो आइए जानते हैं कि घर पर हेल्थी और हाइजीन तरीके से चॉकलेट कैसे बनाएं।

किन चीजों कि है आवश्यकता ?

घर पर चॉकलेट बनाने के लिए आपको नारियल तेल /वनस्पति घी/ कोका बटर की जरूरत होगी । साथ ही पिसी हुई चीनी , कोका पाउडर , मिल्क पाउडर,  वैनिला एक्सट्रैक्ट की भी जरूरत होगी । सभी सामान को इकट्ठा करने के बाद आप आसान स्टेप्स में घर पर चॉकलेट बना सकते हैं।

चॉकलेट बनाने कि विधि

सबसे पहले आधा कप नारियल तेल /  कोका बटर गर्म करें।  तेल गर्म हो जाने के बाद वह जब पिघल जाए , तो उसमें 1/4 कप पिसी हुई चीनी , 3/4  कप मिल्क पाउडर मिला दें और उसे अच्छे से मिक्स करें।  जब चॉकलेट का मिश्रण पूरी तरीके से तैयार हो जाए , तो उसे moulds (सांचे ) में डाल दे।  आप चाहे तो वैनिला एक्सट्रैक्ट भी स्वाद के लिए डाल सकते हैं । और फ्रिज में चॉकलेट के मिश्रण को  1 घंटे के लिए रख दें ताकि वह अच्छे से सेट हो जाए।  और जब पूरी तरीके से सेट हो जाए तो आप उसे चॉकलेट का  मजा ले सकते हैं।

चॉकलेट डे का इतिहास

चॉकलेट,  यह एक ईसाई दावत के दौरान उत्पन्न हुआ, जिसने संत वेलेंटाइन के साथ-साथ अन्य ईसाई संतों ने  वैलेंटाइन कहा, कई देशों में, इसे संस्कृति के मामले में एक महत्वपूर्ण दिन के रूप में मान्यता प्राप्त है। लेकिन किसी भी देश में सार्वजनिक अवकाश के रूप में नहीं माना जाता है। मान्यताओं के अनुसार चॉकलेट आपके वेलेंटाइन और लवबर्ड्स के लिए उपहार के रूप में  चॉकलेट , कभी न खत्म होने वाले प्यार का प्रतीक है और उसे दर्शाता भी है ।


About Author
Manisha Kumari Pandey

Manisha Kumari Pandey

पत्रकारिता जनकल्याण का माध्यम है। एक पत्रकार का काम नई जानकारी को उजागर करना और उस जानकारी को एक संदर्भ में रखना है। ताकि उस जानकारी का इस्तेमाल मानव की स्थिति को सुधारने में हो सकें। देश और दुनिया धीरे–धीरे बदल रही है। आधुनिक जनसंपर्क का विस्तार भी हो रहा है। लेकिन एक पत्रकार का किरदार वैसा ही जैसे आजादी के पहले था। समाज के मुद्दों को समाज तक पहुंचाना। स्वयं के लाभ को न देख सेवा को प्राथमिकता देना यही पत्रकारिता है।अच्छी पत्रकारिता बेहतर दुनिया बनाने की क्षमता रखती है। इसलिए भारतीय संविधान में पत्रकारिता को चौथा स्तंभ बताया गया है। हेनरी ल्यूस ने कहा है, " प्रकाशन एक व्यवसाय है, लेकिन पत्रकारिता कभी व्यवसाय नहीं थी और आज भी नहीं है और न ही यह कोई पेशा है।" पत्रकारिता समाजसेवा है और मुझे गर्व है कि "मैं एक पत्रकार हूं।"

Other Latest News