BADWANI NEWS : सेंधवा जनपद पंचायत कार्यालय में सीईओ को लोकायुक्त की टीम ने रंगे हाथों रिश्वत लेते पकड़ा है। दरअसल सीईओ की शिकायत ग्राम पंचायत अंजनगांव के सचिव ने की थी, जिसके बाद जांच में साक्ष्य पाने के बाद लोकायुक्त इंदौर की टीम ने कार्रवाई की, लोकायुक्त टीम ने पांच लाख रुपए की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया है। कार्रवाई के बाद जनपद पंचायत कार्यालय के बाहर हड़कंप मच गया। देर तक लोग कार्रवाई पर चर्चा करते रहें।
मनरेगा के कामों के जांच की धमकी देकर 5 लाख रुपए की रिश्वत मांगी
सेंधवा जनपद पंचायत की ग्राम पंचायत अंजनगांव के सचिव सुनील ब्रह्मणे के अनुसार सीईओ जनपद पंचायत के सीईओ ने मनरेगा के कामों के जांच की धमकी देकर 5 लाख रुपए की रिश्वत मांगी थी, शिकायतकर्ता ने इंदौर लोकायुक्त कार्यालय में शिकायत की थी। जिसके बाद तमाम सबूत मिलते ही मंगलवार सुबह करीब 11 बजे इंदौर लोकायुक्त की टीम ने लोकायुक्त डीएसपी प्रवीण सिंह बघेल के नेतृत्व में कार्रवाई की। मौके पर ही टीम ने जनपद पंचायत सीईओ रमाकांत उईके को 4 लाख 80 हजार रुपए की रिश्वत लेते रंगे हाथ गिरफ्तार किया।
यह था मामला
अंजनगांव के सहायक सचिव, प्रभारी सचिव और ग्राम पंचायत लवाणी के प्रभारी सहायक सचिव सुनील ब्रह्मणे ने इंदौर लोकायुक्त एसपी को शिकायत की थी। शिकायत में कहा था कि जनपद पंचायत सीईओ रविकांत उईके ने उनकी ग्राम पंचायत में मनरेगा के तहत हुए कार्यों में अनियमितता बताते हुए और कार्य पूर्ण नहीं करने पर शोकाज नोटिस जारी किया। कई बार प्रभारी सचिव ने CEO से बात करने की कोशिश की लेकिन वह मिलने के लिए तैयार नहीं हुए, इसके बाद भी CEO ने प्रभारी सचिव से रिश्वत मांगी, वही सचिव को पद से प्रथक करने और एफआईआर करने के लिए डराया। सीईओ ने इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं करने के एवज में 5 लाख रुपए की रिश्वत मांगी। शिकायत सही पाए जाने पर मंगलवार को ट्रैप दल का गठन कर जनपद पंचायत सीईओ रमाकांत उईके को 5 लाख रुपए की रिश्वत लेते हुए ट्रैप किया। सीईओ ने रिश्वत के रुपए जनपद पंचायत के अकाउंटेंट पंवार की गाड़ी की डिक्की में रखवाए थे, जहां से 5 लाख रुपए जप्त हुए। अकाउंटेंट की इस मामले में भूमिका की भी जांच की जाएगी। मामले में आगे विवेचना की जा रही है।