चोरों से की गुजारिश, दीवारों पर चिपकाई एक मार्मिक चिट्ठी

बैतूल, वाजिद खान। आमतौर पर अपनों के हाल-चाल जानने के लिए चिट्ठी (letter)लिखी जाती है लेकिन इन दिनों बैतूल में एक चिट्ठी बड़ी चर्चा में है और हो भी क्यों नहीं,  क्योंकि यह चिट्ठी अपनों के लिए नहीं लिखी बल्कि चोरों के लिए लिखी गई है । बैतूल (Betul) के मलकापुर गांव की दीवारों पर चिपकी इस चिठ्ठी का का टाइटल है “एक पाती चोरों के नाम” ।

दरअसल बैतूल के मलकापुर गांव के मोक्षधाम को सुंदर बनाने के लिए ग्रामीणों ने अपने जन्मदिन और  परिजनों की याद में 70 पौधे रोपित किये थे । इन पौधों की सिंचाई करने के लिए ग्रामीणों ने आपस मे चंदा करके डेढ़ सौ फीट पाइप और वाल खरीदा था । इस पाइप और वाल को तीन दिन पहले अज्ञात चोर चुरा कर ले गए । जिससे पौधों में पानी देने की दिक्कत हो गई है । परेशान ग्रामीणों ने इसकी शिकायत पुलिस में भी की है ,लेकिन इसके साथ ही इन ग्रामीणों ने चोरों को शर्मिंदा करने का एक बहुत ही अनोखा तरीका निकाला । तरीका है “एक पाती चोरों के नाम” इस पाती में ग्रामीणों ने बहुत ही मार्मिक शब्दो में  चोरों से अपील की है कि वो पाइप और वाल वापस रख जाए ।


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Atul Saxena

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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ.... पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....