MP News : प्रदेश में खनन माफियाओं का हौसला इतना बढ़ गया है कि प्रशासन की नाक के नीचे ही अवैध रूप से रेत का कारोबार करने लगे हैं। रेत से भरी दर्जनों ट्रैक्टर ट्रालियां प्रतिदिन चौराहों व हाईवे से निकल रही हैं। लेकिन इसके बाद भी जिम्मेदारों का इस ओर ध्यान नहीं है। ऐसा मामला मध्यप्रदेश के दो जिलों की अलग-अलग तस्वीर सामने आ रही है। जहाँ चोर आगे आगे भागता है और प्रशासन उसके पीछे-पीछे है। नतीजा कुछ नहीं निकलता है। जिसका वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है। वहीं दूसरी तस्वीर दिनदहाड़े ओवरलोड रेत के ट्रैक्टर हाईवे पर दौड़ रहे हैं। लेकिन जिम्मेदार कोई कार्रवाई नहीं कर रहा है।
पहला मामला हंडिया हरदा के बीच हाइवे का है। जहां हाइवे पर रेत माफिया ट्राली भरकर आगे-आगे चल रहा है और पीछे-पीछे हूटर बजाती तहसीलदार की गाड़ी चल रही है। सबसे मजेदार बात तो ये की ट्राली के साथ एक बाइक पर दो व्यक्ति ट्राली चालक से बातचीत करते व उसे समझाइश देते हुए चल रहे हैं। वहीं समझाइश का नतीजा निकला और चालक ने हायड्रोलिक सिस्टम से ट्राली को ऊपर उठा कर पूरी रेत हाइवे पर खाली कर दी। अब खाली ट्राली रेत और कार्रवाई के भय से मुक्त है। इधर, प्रशासन का वाहन अज्ञात आशंका के भय से ट्राली के आगे वाहन निकाल कर रोकने की हिम्मत न जुटाकर पीछे से उसका वीडियो बनाकर अपनी कर्तव्य परायणता प्रस्तुत कर रहा है। वीडियो को देख कर ये कहना गलत नहीं होगा की मामूली कार्रवाई में कौन जान की जोखिम मोल ले जान है तो जहान है। शायद कार में बैठे अधिकारी का यही सोचना होगा।
जिम्मेदार नहीं कर रहे कोई कार्रवाई
दूसरा मामला भिंड जिले का है। जहां दिनदहाड़े ओवरलोड रेत के ट्रैक्टर हाईवे पर दौड़ रहे हैं। संबंधित अधिकारी रेत के ऊपर कोई कार्रवाई नहीं करना चाहते हैं, यही कारण है की जिले में रेत का कारोबार अवैध तरीके से चल रहा है। भिंड जिले में रॉयल्टी टू दतिया की कट के आती है और रेत कहीं और से भरा जाता है। संबंधित अधिकारी मर्जी से जिले में ओवरलोड वाहन धड़ल्ले से चला रहे हैं। इससे जिले में अवैध वसूली भी की जा रही है। ओवरलोड वाहनों के द्वारा संबंधित अधिकारियों के गुर्ग अधिकारियों की दम पर रेत की अवैध वसूली उजागर हुई है। कांग्रेस ने अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि भिंड में अधिकारियों की मौन स्वीकृति भी इस खनन कारोबार में संलिप्तता की ओर इशारा कर रही है। इसीलिए अवैध रेत उत्खनन पर कोई कार्रवाई नहीं हो रही।