भोपाल। भाजपा के वरिष्ठ नेता बाबूलाल गौर और कांग्रेस नेताओं की नजदीकियां ने राजनैतिक गलियारों में सरगर्मियां तेज कर दी है। बीते दिनों कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और मध्य्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह बाबूलाल गौर के घर खाने खाने पहुंचे थे और उन्हें कांग्रेस मे आने का न्यौता दिया था। हालांकि गौर ने यह कहकर बात को टाल दिया था कि वे विचार करेंगें। वही आज कमलनाथ सरकार में जनसंपर्क मंत्री जीतू पटवारी बाबूलाल गौर से मिलने उनके घर पहुंचे। जहां दोनों के बीच काफी देर तक बातचीत हुई। इस दौरान गौर ने पटवारी को शुभकामनायें देते हुए उनकी तारीफ भी की और उन्हें ईमानदार और भयंकर संगर्ष करने वाला नेता बताया| इस मुलाकात के बाद फिर चर्चाओं का बाजार गर्म हो चला है
दरअसल, शुक्रवार को मंत्री जीतू पटवारी पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल गौर के घर पहुंचे। यहां उन्होंने काफी देर तक बातचीत की। इस दौरान गौर ने जीतू को मंत्री बनने पर बधाई दी और कहा आप ईमानदार हो तो जीतू ने कहा ये सब आपका आर्शीवाद है, गौर ने जवाब देते हुए कहा कि ये आपका संघर्ष है, आपने शुरु में बहुत मेहनत की ये सब उसी का परिणाम है। वही मीडिया को देख गौर ने कहा कि जहां सरकार होती है वहां मीडिया तो आती ही है। इस दौरान जीतू ने उनसे विधानसभा के दूसरे सत्र को लेकर भी चर्चा की । वही चर्चा के बाद गौर ने जीतू को अपने घर में लगी तस्वीरे दिखाई। इसमें कई नेताओं के साथ गौर मौजूद थे। गौर ने कमलनाथ के साथ वाली तस्वीर की ओर इशारे करते हुए कहा कि ये हमारे नेता है। हालांकि यह पहला मौका नही है जब गौर ने कमलनाथ और कांग्रेस की तारीफ की हो। इसके पहले भी वे कई बार खुले मंच से कमलनाथ और राहुल गांधी की तारीफ कर चुके है। गौर के साथ कांग्रेस नेताओं की मुलाकात का दौर ऐसे समय चल रहा है जब लोकसभा चुनाव के लिए कांग्रेस दमदार चेहरा तलाश रही है, और अपनी ही पार्टी से दरकिनार नेताओं पर नजर रखी जा रही है|
विधानसभा चुनाव परिणाम से पहले कांग्रेस नेता आरिफ अकील भी गौर मिलने उनके घर पहुंचे थे। विधानसभा चुनाव के बाद दोनों के बीच काफी देर चर्चा हुई थी और गौर ने उन्हें भरोसा दिलाया था कि उनकी ही पार्टी जीतेगी। लगातार नेताओं का गौर से संपर्क करना भाजपा में हलचल पैदा किए हुए है। वही आज सुबह गौर ने अपने ही पार्टी के खिलाफ बयानबाजी कर सरगर्मियां और बढ़ा दी है। गौर का कहना है कि पार्टी द्वारा लगातार वरिष्ठ नेताओं को ठिकाने लगाया जा रहा है, पहले रघुनन्दन शर्मा, लक्ष्मीकांत, सरताज सिंह और कैलाश विजयवर्गीय । पार्टी वरिष्ठ नेताओं को दरकिनार कर रही है जिसका खमियाजा लोकसभा चुनाव में भुगतना पड़ेगा। उन्होंने कहा कि यह पार्टी अब कुशाभाऊ के समय वाली पार्टी नहीं रही|