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Sat, Dec 20, 2025

अब शिवराज की “मिनी कैबिनेट” पर कमलनाथ ने तोड़ी चुप्पी

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अब शिवराज की “मिनी कैबिनेट” पर कमलनाथ ने तोड़ी चुप्पी

भोपाल।
29 दिन बाद मिनी कैबिनेट का गठन कर प्रदेश की शिवराज सरकार कांग्रेस के निशाने पर आ गई है। शिवराज मंत्रिमंडल गठन को 24 घंटे बीत चुके है लेकिन विपक्ष के हमले कम होने का नाम नही ले रहे है।अब पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने चुप्पी तोड़ते हुए बड़ा बयान दिया है।नाथ ने कहा कि एक माह बाद मंत्रिमंडल का गठन वो भी सिर्फ 5 मंत्री, कोई विभाग का बंटवारा नहीं। इसी से समझा जा सकता है कि भाजपा में कितनी अंतर्कलह चल रही है।

दरअसल, मंगलवार सुबह राजभवन में पांच मंत्रियों को शपथ दिलाई गई, जिसमें भाजपा के वरिष्ठ विधायक नरोत्तम मिश्रा, कमल पटेल और मीना सिंह मंत्री बने। वहीं, ज्योतिरादित्य सिंधिया गुट से तुलसी सिलावट और गोविंद सिंह राजपूत को मंत्री पद की शपथ दिलाई गई। जिसको लेकर कांग्रेस ने सवाल खड़े करना शुरु कर दिया है। कमलनाथ ने ट्वीटर के माध्यम से शिवराज की मिनी कैबिनेट पर अटैक किया है। नाथ ने एक के बाद ट्वीट कर तीखे वार किए है।पहले ट्वीट में नाथ ने लिखा है कि कोरोना महामारी के संकट के इस दौर में आज मंत्रिमंडल गठन से भाजपा ने प्रदेश की 7.5 करोड़ जनता के साथ मज़ाक़ किया है।एक माह बाद मंत्रिमंडल का गठन वो भी सिर्फ़ 5 मंत्री , कोई विभाग का बँटवारा नहीं ?

दूसरे ट्वीट में नाथ ने लिखा है कि इसी से समझा जा सकता है कि भाजपा ने कितना अंतर्द्वंद चल रहा है , कितना आंतरिक संघर्ष चल रहा है। प्रलोभन का खेल खेलकर इन्होंने कांग्रेस की स्थिर सरकार तो गिरा दी , अपनी सरकार बना ली लेकिन यह सरकार ये चलाएँगे कैसे ? कितने दिन चलायेंगे ? आगे-आगे देखिये ?

आगे लिखा है कि इस मंत्रिमंडल के गठन से ही इनके संघर्ष की वास्तविकता सामने आ चुकी है।
आज के मंत्रिमंडल गठन में ही भाजपा के कई ज़मीनी संघर्ष करने वाले अनुभवी , ईमानदार , योग्य , संकट के इस दौर में जिनके अनुभव की आज आवश्यकता थी , वो सब नदारद और जो संकट में भाग खड़े हुए वो अंदर।

बता दे इसके पहले कांग्रेस और उनके नेताओं ने सोशल मीडिया के माध्यम से सरकार को जमकर घेरा था। राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने तो इस मिनी कैबिनेट को ही असंवैधानिक बता दिया था।राज्यसभा सांसद विवेक तन्खा ने संविधान की धारा 164 (ए) का हवाला देकर कहा कि कम से कम 12 मंत्री बनने थे, लेकिन केवल पांच को ही मंत्री बनाया गया, जो असंवैधानिक है। पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा ने मंत्रिमंडल गठन पर तंज कसते हुए सिंधिया समर्थक 20 पूर्व विधायकों पर चुटकी ली। कांग्रेस के मीडिया विभाग के अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा कि मध्य प्रदेश आज भी स्वास्थ्य मंत्री विहीन है। यही तो पंगु सरकार के लक्षण हैं। वहीं, पूर्व मंत्री उमंग सिंघार ने कहा कि सिंधिया कोटे के दो मंत्री बनाकर भाजपा ने यह सिद्ध कर दिया कि उनके 10 मंत्री तो नहीं बनेंगे। अब आगे देखते हैं सिंधिया अपनी सियासत कैसे बचा पाते हैं।