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Wed, Dec 17, 2025

वन ग्रामों में पट्टे के लिए सर्वे कराएगी सरकार, कांग्रेस ने उठाये सवाल, उमंग सिंघार ने समय सीमा की मांग की, जंगल कटाई पर लगाये गंभीर आरोप

Written by:Atul Saxena
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मुख्यमंत्री ने कहा कि सघन वन मध्यप्रदेश की पहचान है इसलिए वन विभाग प्रदेश की बेजोड़ सघन वन सम्पदा एवं वन्य जीव पर्यटन सुविधाओं में और अधिक विस्तार कर अपनी स्थायी आय के साधन बढ़ाए।
वन ग्रामों में पट्टे के लिए सर्वे कराएगी सरकार, कांग्रेस ने उठाये सवाल, उमंग सिंघार ने समय सीमा की मांग की, जंगल कटाई पर लगाये गंभीर आरोप

Umang Singhar

मध्य प्रदेश सरकार अब वन ग्रामों में भी पट्टे देगीइस आशय के निर्देश मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने  दिए हैं। उन्होंने वन अधिकारियों के साथ वन विभाग की गतिविधियों की समीक्षा करते हुए कहा कि अब वन ग्रामों में सर्वे करवाया जायेगा और जो पात्र व्यक्ति छूट गए हैं उन्हें भी पट्टे दिए जाएंगे। कांग्रेस ने मुख्यमंत्री के फैसले का स्वागत किये है लेकिन कुछ सवाल भी उठाये हैं।

नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने मीडिया से बात करते ही कहा कि सरकार का निर्णय का हम स्वागत करते हैं लेकिन सरकार को पहले ये बताये कि उसने हाल ही में जो साढ़े तीन लाख पट्टे निरस्त किये हैं जिनके आवेदन थे तो क्या उनका भी फिर से सर्वे होगा। जो सवालाख नए आवेदन आये हैं तो क्या वे भी सर्वे में शामिल होंगे, सरकार कब तक सर्वे कराएगी ये समय सीमा बताई जाये केवल घोषणा से काम नहीं चलेगा ।

नियम और नीति तुरंत स्पष्ट करे सरकार 

उमंग सिंघार ने कहा कि आदिवासियों की परेशानी कब दूर होगी उन्हें पट्टों के लिए क्या कलेक्टर,  एसडीएम के यहाँ चक्कर लगाने पड़ेंगे , ग्रामसभा में जो पहले के प्रस्ताव हैं क्या उसके आधार पर सर्वे होगा ये भी सरकार स्पष्ट करे उन्होंने कहा ये कही एक सिर्फ़ कोरी घोषणा ना सबित हो, इसलिए सरकार को इसमें नियम और नीति तुरंत स्पष्ट करना चाहिए ।

जंगल कटाई में वन विभाग का हाथ 

नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि मध्य प्रदेश में कई जगह जंगल जाते जा रहे हैं , नेपा नगर में बहुत सा जंगल साफ़ हो गया , उन्होंने 20 16 से 2020 तक की सेटेलाईट इमेज दिखाते हुए कहा कि पहले जो घना जंगल था वो धीरे धीरे साफ़ हो गया सिंघार ने कहा कि क्या इसमें वन विभाग की मिली भगत है जो हजारों हेक्टेयर जंगल कर रहा है।

जंगल काटने वालों पर सख्त कार्रवाई करे सरकार 

कांग्रेस नेता ने कहा आदिवासियों पर जंगल काटने के बार बार आरोप लगते हैं जबकि वो ऐसा नहीं करते, मैं कई आदिवासियों से मिला हूँ उन्होंने बताया कि दूसरे लोग जंगल काट रहे हैं तो सरकार को इसकी जाँच करनी चाहिए, उन्होंने कहा जो व्यक्ति 40-50 साल से रह रहा है उस आधार पर पट्टे दे सकते हैं और जो जंगल कटाई के नामपर आदिवासियों को बदनाम कर रहे हैं उनपर तत्काल कार्रवाई करनी चाहिए ।