भोपाल।
रविवार को नामों की लिस्ट लेकर हाईकमान से मिलने पहुंचे मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chauhan) आज मंगलवार को महामंथन कर तीसरे दिन वापस भोपाल लौट आए है,ऐसे में आज 30 जून को शिवराज मंत्रिमंडल विस्तार (Shivraj cabinet expansion) ना होकर 1 जुलाई को होने की पूरी संभावना जताई जा रही है।एक तरफ जहां सिंधिया नौ समर्थकों का मंत्रिमंडल में शामिल होना तय माना जा रहा है।वही दूसरी तरफ पिछली सरकार में मंत्री रहे और वरिष्ठ विधायकों को नजरअंदाज कर कई युवा भाजपा विधायकों को मौका दिए जाने के संकते मिल रहे है। इन्ही अटकलों और चर्चाओं के बीच पूर्व नेता प्रतिपक्ष और आठ बार के विधायक रहे गोपाल भार्गव (senior mla gopal bhargwa) का बड़ा बयान सामने आया है।बयान ने जहां सियासी गलियारों में हलचल मचा दी है , वही बीजेपी में भी खलबली की खबर है।
बीजेपी के वरिष्ठ नेता और पूर्व नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने इस पर नाराजगी जाहिर की है। पार्टी के मंत्री नहीं बनाए जाने के संकेत के बाद भाजपा की पिछली तीन सरकारों में मंत्री रह चुके आठ बार के विधायक गोपाल भार्गव ने बीजेपी की भी कांग्रेस जैसी हालत होने की बात कही है। एक निजी चैनल से चर्चा के दौरान भार्गव ने कहा कि भाजपा भी वही गलती कर रही है जो कांग्रेस ने की थी। पार्टी को वरिष्ठ नेताओं का सहयोग लेना चाहिए, केन्द्र के फॉर्मूले को प्रदेश में लागू नही करना चाहिए।इसे कही ना कही भार्गव के अंदर का दर्द माना जा रहा है, जो लंबे इंतजार के बाद छलका है। वही पार्टी द्वारा भार्गव की नाराजगी को देखते हुए विधानसभा अध्यक्ष बनाए जाने की भी चर्चा है।हालांकि अंतिम फैसला हाईकमान को लेना है।
सूत्रों की मानें मुख्यमंत्री शिवराज अपने चहेतों को मंत्रिमंडल में शामिल करना चाहते है लेकिन हाईकमान युवाओं को मौका देने के फेवर में है वही सिंधिया समर्थकों के साथ कोई समझौता ना करने के मूड में है, चुंकी सरकार बनाने में सिंधिया और उनके समर्थकों की अहम भूमिका रही है। लेकिन मुख्यमंत्री चाहते हैं कि यह निर्णय बाद में लिया जाए। सिंधिया समर्थकों में से सभी बड़े नेताओं को मंत्री बनाया जाता है तो भाजपा के पास पद कम बचेंगे। संगठन चाहता है कि एक-दो लोगों को रोककर उन्हें उपचुनाव के बाद मंत्री बनाया जाए।
उम्र फैक्टर हावी हुआ तो बाहर होंगे ये विधायक
गोपाल भार्गव, विजय शाह, सुरेंद्र पटवा, रामपाल सिंह, राजेंद्र शुक्ला, प्रेम सिंह पटेल, पारस जैन, नागेंद्र सिंह, करण सिंह वर्मा, जगदीश देवड़ा, गौरीशंकर बिसेन, अजय विश्नोई, भूपेंद्र सिंह
रविवार से सोमवार तक चला बैठकों का दौर
दिल्ली में रविवार से सोमवार तक बैठकों का दौर चला, मुख्यमंत्री शिवराज विधायकों के नामों लिस्ट लेकर बंगले दर बंगले भटकते रहे, इस दौरान केन्द्रीय मंत्री नरेन्द्र सिंह तोमर, पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा, गृहमंत्री अमित शाह, राज्यसभा सांसद सिंधिया और पीएम मोदी से मुलाकात कर लंबी चर्चा की। लेकिन कई नामों पर पेंच फंसा रहा।खास करके ग्वालियर की 16 सीटों पर सुई अटकी।इसी के चलते आनन फानन में संकटमोचक माने जाने वाले प्रदेश के गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा को देर शाम दिल्ली बुलाया गया। बताया जा रहा है कि जहां शिवराज अपने चहेतों को मंत्रिमंडल में शामिल करना चाहते है वही हाईकमान युवाओं को मौका देने पर अडा रहा। नामों की लिस्ट प्रदेश इकाई, सिंधिया खेमा, शिवराज खेमा और हाईकमान के बीच अटकी रही, हालांकि कहा जा रहा है कि देर रात महामंथन के बाद 25 नामों पर सहमति बन गई है, जिसमें नौ सिंधिया समर्थक शामिल है। मुख्यमंत्री शिवराज आज मंगलवार सुबह नई लिस्ट लेकर भोपाल पहुंचे है, उम्मीद है कि एक जुलाई को मंत्रिमंडल विस्तार हो सकता है। राज्यसभा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया और यूपी की राज्यपाल आनंदीबेन पटेल आज देर शाम या बुधवार को भोपाल आ सकते है।
मंत्रिमंडल के बाद भाजपा मे बढ सकता है अंतर्कलह और असंतोष
भागर्व और कई बीजेपी विधायकों के तेवर देख कहा जा सकता है कि मंत्रिमंडल में जगह ना मिलने के कारण अपनों के बगावती तेवर देखने को मिल सकते है। हालांकि अंतर्कलह की खबरे तो पहले ही मीडिया में सुर्खियां बनी हुई है। यहां तक की कांग्रेस सरकार के पूर्व मंत्री पीसी शर्मा ने सोमवार को दावा किया था कि मंत्रिमंडल विस्तार को लेकर भाजपा में कलह बढ़ गई है। यह सही है कि मंत्री पद की दौड़ में शामिल कई विधायकों का दबाव बढ़ा है।आने वाले दिनों में अंतरकलह और बढ़ेगी।
कांग्रेस मना रही 100 दिन पूरे होने पर काला दिवस
प्रदेश की शिवराज सरकार के आज मंगलवार को सौ दिन पूरे हो गए है लेकिन अबतक मंत्रिमंडल विस्तार नही हो पाया है। मध्य प्रदेश में आज 30 जून को कांग्रेस सरकार गिरने के 100 दिन पूरे हो गए।एक तरफ जहां भाजपा सरकार मंत्रिमंडल विस्तार की तैयारियों में जुटी हुई है, वहीं, कांग्रेस इस दिन को काला दिन के रूप में मना रही है।प्रदेशभर में आज प्रदर्शन और शिवराज सिंह चौहान पुतला जलाया जा रहे है, कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं द्वारा पूरे प्रदेश में काला दिवस मनाया जा रहा है।कांग्रेस का आरोप है कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान को ना कोरोना से बढते संक्रमण का ध्यान है और ना ही प्रदेश की जनता से कोई मतलब है। ना प्रदेश की कानून व्यवस्था से उनका सिर्फ उपचुनाव और मंत्रिमंडल पर ध्यान है पूरे प्रदेश में त्राहिमाम मचा हुआ है।
(भोपाल से पूजा खोदाणी की रिपोर्ट)