डबरा कृषि मंडी में किसान और हम्माल के बीच हुई मारपीट, मामला दर्ज

अगर कोई मंडी में मल्हार(निर्धारित भाव में कमी कर रहा है)और कांटों पर गलत तुलाई जैसी गतिविधियां होती पाई गईं तो मंडी प्रशासन द्वारा इस पर उचित कार्रवाई की जाएगी एवं संबंधित व्यापारी का लाइसेंस भी निरस्त किया जाएगा।

Dabra News : डबरा कृषि उपज मंडी में सोमवार को पल्लेदारों और किसानों के बीच मामूली विवाद ने बड़ा रूप ले लिया, जिसके चलते मंडी का पूरा कामकाज कुछ समय के लिए रुक सा गया। स्थिति इतनी गंभीर हो गई कि सभी पल्लेदारों ने इकट्ठा होकर कांटे बंद कर के मंडी प्रांगण के गेट पर जाम लगा दिया। और इस मामले में एक हम्माल ने थाने में किसान पर मारपीट का प्रकरण भी दर्ज करवाया है।

वहीं इस पूरे मामले में डबरा मंडी सचिव अनिल शर्मा ने बताया कि दो किसान एक साथ कांटे पर अपनी फसल तुलवाने के लिए पहुंचे थे। जिस पर से दोनों किसानों में पहले फसल तोलने को लेकर बहस छिड़ गई एवं जब पल्लेदारों ने एक किसान की फसल तोल दी तो दूसरे किसान ने आक्रोशित होकर पल्लेदार में थप्पड़ मार दिया। जिसके बाद पल्लेदार ने भी पलट कर किसान में थप्पड़ मार दिया। जिस पर से दोनों में काफी झूमा झपटी हो गई जिसमें पल्लेदार के पैर में चोट आई है। मामले को बढ़ता देख सभी पल्लेदार इकट्ठा होकर किसान पर थाने में प्रकरण भी दर्ज कराया।

मंडी प्रशासन ने बनाई तीन कर्मचारियों की टीम

मंडी में निर्धारित समय से पूर्वी ही होने बाली तोल को लेकर मंडी सचिव अनिल शर्मा ने यह भी बताया कि उन्हें कुछ इस तरह की शिकायतें मिल रही हैं कि मंडी में फसल की तुलाई के निर्धारित समय से पहले ही सुबह 3 बजे से ही किसान मंडी आ जाते हैं और व्यापारियों को अपनी फसल तुलवा देते हैं यह व्यापारियों और किसानों के आपसी समन्वय के कारण चल रहा है, हाल ही में मंडी प्रशासन को शिकायत मिली थी कि मंडी में फसल खरीदी पर मल्हार( निर्धारित भाव में कमी करना) हो रही है। जिसे गंभीरता से लेते हुए मंडी प्रशासन ने तीन कर्मचारियों की टीम बनाई है जिनका काम मंडी में हो रही गतिविधियों को देखना है एवं अगर कोई मंडी में मल्हार(निर्धारित भाव में कमी कर रहा है)और कांटों पर गलत तुलाई जैसी गतिविधियां होती पाई गईं तो मंडी प्रशासन द्वारा इस पर उचित कार्रवाई की जाएगी एवं संबंधित व्यापारी का लाइसेंस भी निरस्त किया जाएगा।
डबरा से अरुण रजक की रिपोर्ट


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Amit Sengar

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मुझे अपने आप पर गर्व है कि में एक पत्रकार हूँ। क्योंकि पत्रकार होना अपने आप में कलाकार, चिंतक, लेखक या जन-हित में काम करने वाले वकील जैसा होता है। पत्रकार कोई कारोबारी, व्यापारी या राजनेता नहीं होता है वह व्यापक जनता की भलाई के सरोकारों से संचालित होता है।वहीं हेनरी ल्यूस ने कहा है कि “मैं जर्नलिस्ट बना ताकि दुनिया के दिल के अधिक करीब रहूं।”

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