पिछले 24 घंटों में इंदौर में डेंगू के 11 नए मामले सामने आ चुके हैं, जिससे स्वास्थ्य विभाग में खलबली मच गई है। दरअसल जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. दौलत पटेल के अनुसार, इन नए मामलों में 7 पुरुष, 4 महिलाएं और एक बच्ची शामिल हैं। वहीं इन घटनाओं के बाद, शहर के विभिन्न क्षेत्रों में विशेष सावधानी बरती जा रही है।
दरअसल डॉ. दौलत पटेल ने बताया कि डेंगू के नए मामले जिन क्षेत्रों से सामने आए हैं, उनमें विजय नगर, पीपल्याहाना, गुलशन अपार्टमेंट, प्रिमियम पार्क, आरआर कैट, नवरतन बाग, रॉयलमणि पार्क, श्रीयंत्र नगर, रानी बाग और बंगाली चौराहा शामिल हैं। बता दें कि ये इलाके शहर के अलग-अलग हिस्सों में स्थित हैं, जिससे स्पष्ट होता है कि डेंगू संक्रमण किसी एक क्षेत्र तक सीमित नहीं है, बल्कि पूरे शहर में फैल रहा है।
स्वास्थ्य विभाग ने विशेष छिड़काव अभियान चलाया
जानकारी के मुताबिक स्वास्थ्य विभाग ने इन इलाकों में मच्छरों के लार्वा को खत्म करने के लिए विशेष छिड़काव अभियान चलाया है। साथ ही, स्थानीय निवासियों से अनुरोध भी किया गया है कि वे अपने घरों और आसपास पानी जमा न होने दें। गमलों, सिंक, कूलर, और हौज में पानी न रुकने देने की खास हिदायत दी गई है। वहीं इसके अतिरिक्त, छतों और आसपास के स्थानों पर कचरा इकट्ठा न होने देने पर भी जोर दिया गया है।
डेंगू से बचाव का रास्ता?
दरअसल डॉ. पटेल ने बताया कि डेंगू एक मच्छर जनित बीमारी है, जो एडीज मच्छर के काटने से फैलती है। यह मच्छर सामान्यतः दिन के समय काटते हैं और घरों या आसपास के क्षेत्रों में जमा हुए साफ पानी में पनपते हैं। ऐसे स्थानों पर मच्छरों का प्रजनन अधिक तेजी से होने लगता है, जिससे डेंगू का खतरा बढ़ जाता है। इस बीमारी से बचाव के लिए पानी का जमाव रोकना जरूरी है।
वहीं डेंगू के लक्षणों में तेज बुखार, त्वचा पर लाल चकत्ते, सिर, मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द, भूख में कमी, उल्टी, दस्त, गले में खराश, पेट में दर्द और लीवर में सूजन जैसी समस्याएं शामिल होती हैं। यदि ये लक्षण नजर आएं तो तुरंत डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए। डॉक्टर आमतौर पर ब्लड टेस्ट के जरिए डेंगू की पुष्टि करते हैं।