डिंडौरी। प्रकाश मिश्रा। मध्यप्रदेश में जहा कोरोना का कहर बढ़ता ही जा रहा और प्रदेश में संक्रमित मरीजों की संख्या में लगातार बढ़ोतरी होती जा रही है इस बीच ही कोरोना का असर प्रदेश की केंद्रीय जेलो पर भी पड़ा है। जिसके चलते जेल प्रशासन ने पूर्व में कैदियों को एक समयावधि के लिए छोड़ने का निर्णय लिया है जिसकी औपचारिक घोषणा मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कर दी है।
क्या है मुख्यमंत्री शिवराज का फैसला
इस सम्बन्ध में, प्रदेश में फैले कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाने के लिए प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने सोमवार को एक बड़ा फैसला लिया है जिसमें कोरोना वायरस के संक्रमण से बचाने के लिए प्रदेश की जेलों में बंद 5000 कैदियों को इमरजेंसी पैरोल पर रिहा करने का फैसला किया है। जिसमें कैदियों को 60 दिन के लिए रिहा किया जाएगा, इसके लिए 2 दिन में 3000 कैदियों को बेल दी जाएगी और इन 3000 कैदियों को 45 दिनों की अवधि के लिए बेल दी जाएगी।इसके लिए सरकार ने मप्र कैदी की छुट्टी के नियम, 1989 में संशोधन किया है।
डिंडोरी जिला जेल ने 8 कैदियों को किया रिहा
राज्य शासन से प्राप्त निर्देशों के तहत डिण्डोरी जिला जेल में विभिन्न मामलों में सजा काट रहे 8 कैदियों को न्यायालय के आदेश अनुसार 45 दिन की अंतरिम जमानत पर छोड़ा गया है ।जेलर एस के गनेशे से प्राप्त जानकारी के अनुसार माननीय न्यायालय को तेरह बंदियों के आवेदन प्राप्त हुए थे जिनमें से 8 बंदियों की अंतरिम जमानत स्वीकृत की गई है जिन्हें विधि अनुसार स्वयं के मुचलके पर 45 दिन के लिए रिहा किया गया है।बता दें कि छोड़े गए सभी 8 बंदी डिंडोरी जिले के विभिन्न ग्रामों के निवासी हैं।
जिला जेल को किया सेनेटाइज
कोरोना वायरस संक्रमण से बचाव के लिए जिला जेल में भी ऐतिहाती कदम उठाए गए हैं एक और जहां पूरे जेल परिसर को सैनिटाइज कराया गया है वहीं आने जाने वाले लोगों के लिए हाथ धोने की व्यवस्था गेट के बाहर ही की गई है ।जेल में पदस्थ स्टाफ एवं अन्य लोगों के बीच भी सोशल डिस्टेंस का कड़ाई से पालन किया जा रहा है।