Guna Crime News : गुना शहर की कैंट थाना पुलिस द्वारा पूछताछ के लिए पकड़े गए युवक की संदिग्ध मौत हो गई है। इसके बाद सोमवार देर रात से लेकर मंगलवार शाम तक शहर में बवाल मचा हुआ है। मृतक के परिजन पुलिस पर हत्या का आरोप लगा रहे हैं। 4 पुलिसकर्मियों सहित 7 लोगों पर हत्या की धाराओं में एफआईआर दर्ज करने की मांग को लेकर उन्होंने शहर के सर्वाधिक व्यस्त रहने वाले गोकुल सिंह चक मार्ग पर घंटों जाम लगाया। बाद में ज्यूडिशयल जांच के आदेश होने पर जाम तो हटा लिया, लेकिन एफआईआर दर्ज होने तक अंतिम संस्कार नहीं करने की बात कही। परिजनों को गुना जिला चिकित्सालय में किए गए पोस्टमार्टम रिपोर्ट पर भी भरोसा नहीं था। देर शाम मामले में ज्यूडिशयल जांच के आदेश हुए और जेएमएफसी न्यायाधीश ने घर जाकर शव का मुआयना किया। इसके बाद कोर्ट में परिजनों के बयान दर्ज किए गए तब जाकर इजराइल के शव का अंतिम संस्कार हो पाया।
घटनाक्रम की शुरुआत सोमवार रात लगभग 10 बजे हुई। मृतक के परिजनों के मुताबिक इसराइल खां (35) बाहर से लौटकर अपने जा रहा था। तभी 4 पुलिसकर्मियों ने उसे पूछताछ के लिए बुलाया और कुशमौदा चौकी में बिठा लिया। लगभग एक घंटे बाद इसराइल की सास को पुलिस द्वारा फोन कर जानकारी दी गई कि इसराइल बेहोश हो गया है और उसे जिला अस्पताल ले गए हैं। जानकारी मिलने पर इसराइल के पिता मुनव्वर खां सहित उसके मित्र और परिजन बड़ी संख्या में एकत्रित होकर जिला अस्पताल पहुंच गए। यहां जानकारी मिली कि इसराइल की मौत हो चुकी है। इसराइल के परिजनों ने उसका शव देखकर मारपीट का आरोप लगाया और जिला अस्पताल में नाराजगी व्यक्त करना शुरु कर दी। इसराइल के पिता के अलावा उसकी बहन मौके पर पहुंची थी, जिसने आरोप लगाया कि पुलिस ने उनसे पैसों की मांग की थी।
परिजनों ने पुलिस पर लगाए आरोप
मृतक के पिता मुनव्वर खां ने आरोप लगाया कि कैंट पुलिस के एक दरोगा सहित 4 पुलिसकर्मियों ने पहले 60 हजार रुपए मांगे थे, बाद में सौदा 15 हजार में तय हो गया। पास ही खड़ी इसराइल की बहन ने कुछ रकम भी दिखाई और रोते हुए कहा कि वह पैसे लेकर आ गई थी तो उसके भाई को मारने की क्या जरूरत थी? यहीं मामला भावुक और हंगामेदार होता गया। हालांकि पुलिस को लग रहा था कि सुबह होते-होते सब कुछ सामान्य हो जाएगा। लेकिन अगले दिन मंगलवार को बात और बिगड़ गई। पोस्टमार्टम होते ही इसराइल के पिता व रिश्तेदारों ने रविंद्र सोलंकी, शिवकुमार रघुवंशी, प्राण सिंह और लखन जाटव नामक 4 पुलिसकर्मियों द्वारा मारपीट का आरोप लगाया और उनके खिलाफ हत्या का केस दर्ज कर एफआईआर सौंपने की मांग पर अड़ गए।
गुना से संदीप दीक्षित की रिपोर्ट