स्वच्छता सर्वेक्षण 2020 के नतीजे बुधवार को केंद्र सरकार द्वारा घोषित कर दिए गए । जिसमें ग्वालियर शहर ने 10 लाख से अधिक आबादी वाले शहरों में लंबी छलांग लगाकर देशभर में 13 वां स्थान प्राप्त किया है। नतीजे आने के बाद नगर निगम के अधिकारी और कर्मचारी बहुत खुश हैं और एक दूसरे को बधाई दे रहे हैं। गौरतलब है कि 2019 में ग्वालियर 59 वे स्थान पर था। ग्वालियर की यह उपलब्धि नगर निगम के सभी स्वच्छता मित्रों द्वारा ईमानदारी से की गई मेहनत तथा सभी शहर वासियों द्वारा किए गए सकारात्मक सहयोग का ही नतीजा है। इसके लिए सभी शहरवासी बधाई के पात्र हैं।
नगर निगम आयुक्त संदीप माकिन ने बताया कि भारत सरकार के शहरी विकास मंत्रालय के तत्वाधान में आयोजित स्वच्छता सर्वेक्षण 2020 में देश भर के 4250 से अधिक नगरीय निकायों ने भाग लिया तथा स्वच्छता की इस प्रतिस्पर्धा में सभी ने जी तोड़ मेहनत की, जिसका परिणाम आज घोषित किया गया है। जिसमें ग्वालियर द्वारा देश भर में 13 वा स्थान प्राप्त किया है। निगमायुक्त श्री माकिन ने बताया कि संभाग आयुक्त एवं नगर निगम प्रशासक एमबी ओझा एवं शहर के सभी जनप्रतिनिधियों के मार्गदर्शन में नगर निगम के सभी अधिकारियों व कर्मचारियों ने स्वच्छता सर्वेक्षण 2020 जो कि विभिन्न चरणों में आयोजित किया गया था, में ईमानदारी एवं पूर्ण कर्तव्य निष्ठा के साथ कार्य किया जिसका आज हमें सुखद परिणाम प्राप्त हुआ है।
ग्वालियर को मिली यह सफलता ना केवल नगर निगम के कर्मचारियों मेहनत बल्कि सभी शहर वासियों के सकारात्मक सहयोग के कारण ही संभव हो सका है। यह सफलता सभी की मिली जुली मेहनत का ही नतीजा है और हमें आगे इतनी और मेहनत करनी है कि हम स्वच्छता सर्वेक्षण में शीर्ष स्थान हासिल कर सकें। उन्होंने कहा कि नगर निगम की इस सफलता में जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन एवं अन्य सभी विभागों का भी पूर्ण सहयोग रहा है।
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Gaurav Sharma
पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है।
इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।