MP Police Micro Beat System: मध्य प्रदेश में बढ़ते अपराधों पर अंकुश लगाने के लिए पुलिस महानिदेशक ने प्रदेश में माइक्रो बीट सिस्टम शुरू करने की घोषणा की है, इस सिस्टम में पुलिस उसकी सबसे निचली कड़ी आरक्षक को मजबूत करने और उसकी जवाबदारी को बढ़ा रही है डीजीपी का मानना है पुलिस का आरक्षक ही एक ऐसी कड़ी है जो अपने क्षेत्र से सबसे नजदीक से जुड़ा होता है इसलिए वो अपने क्षेत्र को सबसे अच्छे से परिचित होता है, डीजी के आदेश के बाद ग्वालियर जिले में आज से “माइक्रो बीट सिस्टम” लागू हो गया है, ग्वालियर आईजी, डीआईजी एवं एसपी ने माइक्रो बीट प्रभारी आरक्षकों को हरी झंडी दिखाकर उनके कार्य क्षेत्र के लिए रवाना किया ।
पुलिस की कार्यप्रणाली को और अधिक प्रभावी एवं सुव्यवस्थित बनाने के लिए मुख्यालय के आदेश पर ग्वालियर जिले में आज से माइक्रो बीट सिस्टम लागू हो गया है, ग्वालियर आईजी अरविंद कुमार सक्सेना, डीआईजी अमित सांघी और एसपी धर्मवीर सिंह ने माइक्रो बीट प्रभारी आरक्षकों को हरी झंडी दिखाकर उनके कार्य क्षेत्र के लिए रवाना किया। एसपी ने जानकारी दी कि ग्वालियर जिले के समस्त थानों में कुल 1073 माइक्रो बीट बनाई गई है।

बीट प्रणाली के प्रभावी क्रियान्वयन हेतु आज पुलिस कंट्रोल रूम सभागार में आईजी ग्वालियर जोन अरविन्द कुमार सक्सेना ने डीआईजी ग्वालियर रेंज अमित सांघी एवं पुलिस अधीक्षक धर्मवीर सिंह की उपस्थिति में जिले के समस्त राजपत्रित अधिकारी, थाना प्रभारी एवं बीट प्रभारी की बैठक ली, आधिकारियों ने पुलिस अधिकारियों को बीट प्रणाली को प्रभावी रूप से संचालित किए जाने के संबंध में आवश्यक दिशा निर्देश दिये। बैठक में जिले के सभी अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक, समस्त सीएसपी, एसडीओपी, जिले के थाना प्रभारी एवं बीट प्रभारीगण उपस्थित थे।
पुलिस की निगरानी क्षमता बढ़ेगी, अपराधों पर अंकुश लगेगा
बैठक में पुलिस महानिरीक्षक ग्वालियर जोन ने कहा कि इस नई व्यवस्था से पुलिस की निगरानी क्षमता बढ़ेगी, अपराधों पर अधिक प्रभावी नियंत्रण होगा और आम जनता से संवाद भी और अधिक सुदृढ़ होगा। उन्होंने कहा कि नवीन बीट प्रणाली के संबंध में पुलिस मुख्यालय भोपाल द्वारा जारी किए गए परिपत्रों में दी गई जानकारी से प्रत्येक अधिकारी व कर्मचारी को अवगत कराया जाना चाहिए।
हरी झंडी दिखाकर माइक्रो बीट प्रभारी आरक्षकों को किया रवाना
बैठक में पुलिस महानिरीक्षक ग्वालियर जोन द्वारा उपस्थित बीट प्रभारियों को बीट पुस्तिका वितरित की गई। उन्होंने बताया कि बीट प्रभारी अपने साथ ऑब्जर्वेशन एवं इन्फॉर्मेशन नोटबुक रखेंगे और बीट भ्रमण के दौरान बीट में आने वाले सभी महत्वपूर्ण स्थानों व संदिग्धों की जानकारियां उसमें दर्ज करेंगे। पुलिस महानिरीक्षक ग्वालियर जोन द्वारा पुलिस उप महानिरीक्षक ग्वालियर रेंज तथा पुलिस अधीक्षक ग्वालियर एवं अन्य पुलिस अधिकारियों की उपस्थिति में माइक्रो बीट प्रभारियों को हरी झंडी दिखाकर उनके कार्य क्षेत्र के लिए रवाना किया गया।
माइक्रो बीट प्रभारी आरक्षक पर होगी ये जिम्मेदारी
बैठक में एसपी धर्मवीर सिंह ने बताया कि ग्वालियर जिले के समस्त थानों में कुल 1073 माइक्रो बीट बनाई गई हैं। जिसमें माइक्रो बीट क्षेत्र के प्रभारी आरक्षक को एक क्षेत्र विशेष की जवाबदारी सौंपी जाकर उस क्षेत्र विशेष से संबंधित गुण्डा, निगरानी बदमाश, सजायाब आपराधिक प्रवृत्ति के व्यक्तियों के साथ-साथ शैक्षणिक संस्थानों, बैंक, एटीएम, होटल, लॉज, ढाबा, पेट्रोल पंप, सीसीटीव्ही कैमरों, अस्पताल, नगर एवं ग्राम रक्षा समिति, धार्मिक स्थलों, धार्मिक उत्सवों, महत्वपूर्ण संस्थानों, वरिष्ठ नागरिकों, मैरिज हाल, साम्प्रदायिक या अन्य दृष्टि से संवेदनशील स्थानों, एवं लोक शान्ति प्रभावित करने वाले मुद्दों, राजनैतिक व्यक्तियों, प्रतिष्ठित एवं सम्भ्रान्त व्यक्तियों, सेवा निवृत्त एवं सेवारत शासकीय कर्मचारियों आदि की सम्पूर्ण जानकारियाँ बीट प्रभारी एवं माइक्रो बीट प्रभारी के द्वारा संधारित की जाएगी।
ये है माइक्रो बीट सिस्टम का मुख्य उद्देश्य
ग्वालियर जिले में पुलिस कार्यप्रणाली को और अधिक प्रभावी एवं सुव्यवस्थित बनाने के लिए माइक्रो बीट सिस्टम लागू किया गया है। जिसका मुख्य उद्देश्य क्षेत्र में पुलिस की सक्रियता बढ़ाना एवं सूचना तंत्र को सुदृढ़ करना है। इसके साथ ही थाने पर पदस्थ आरक्षक स्तर तक प्रत्येक अधिकारी एवं कर्मचारी की जिम्मेदारी तय की जा सकेगी। आरक्षक संबंधित माइक्रो बीट के प्रभारी रहेंगे। माइक्रो बीट प्रभारी अपने साथ ऑब्जर्वेशन एवं इंफॉर्मेशन नोटबुक रखेंगे और बीट भ्रमण के दौरान बीट में आने वाले होटल, लॉज, ढाबा, स्कूल, कॉलेज, प्राइवेट ऑफिस, क्लीनिक, हॉस्पिटल जैसे सभी महत्वपूर्ण स्थानों एवं किरायेदारों तथा गुंडा, बदमाश एवं हिस्ट्रीशीटर की जानकारियां उसमें दर्ज करेंगे।