पुलिस का अमानवीय चेहरा उजागर, 12 घंटे तक शुगर मिल में पड़ा रहा कर्मचारी का शव

Published on -

डबरा। सलिल। 

मध्य प्रदेश में सरकार बदलने के बाद इस बात की उम्मीद थी पुलिस अपने व्यवहार और आचरण में बदलाव करेगी। लेकिन सरकार बदलने के बाद भी पुलिस का रवैया आमानवीय बना हुआ है। डबरा शुगर मिल में एक कर्मचारी की संदिग्ध परिस्थितियों में सोमवार देर रात मौत हो गई। लेकिन पुलिस ने कर्मचारी का शव रात के बजाए 12 घंटे बाद पोस्ट मार्टम करनावे के लिए भेजा। वह भी तब जब स्थानीय लोगों को शव से बदबू आने लगी और उन्होंने इसकी जानकारी पुलिस को दी। 

डबरा शुगर मिल कर्मचारी की संदिग्ध परिस्थितियों में मौत के बाद पुलिस इतनी लापरवाह बनी की रात में ताला लगाकर गई और दोपहर में तब पहुँची जब मीडिया ने जानकारी दी मौहल्ले के लोग शब में से बदबू आने की शिकायत कर रहे है बाद में जब ज़िम्मेदारो से इस सम्बंध में बात करना चाही तो कोई भी कैमरे के सामने आने को तैयार नहीं हुआ अपनी भूल को छिपाने के लिये पुलिस का तर्क था की परिजनों के आने के इंतज़ार में ऐसा हुआ पर यदि ऐसा था तो फिर शब को बिना परिजनो के आए बाद में क्यू उठबा लिया।

आपको बता दे की डबरा शुगर कपनी पर किसानो और कर्मचारियों का करोड़ों रुपया बक़ाया है और उनका आपस में बिबाद काफ़ी लम्बे अर्शे से चल रहा है पूर्ब में भी एक कर्मचारी की मौत हो चुकी है आज भी जयप्रकाश मेनन जो केरल का निवासी है और फ़ैक्टरी कैम्पस में निवास करता है बीती रात संदिग्ध परिस्थितियों में मौत हो गई मिल कर्मचारियों का कहना बह भुगतान ना होने के चलते आर्थिक तंगी से जूझ रहा था इसी के चलते उसकी मौत हुई है फ़िलहाल मौत कैसे हुई यह तो पीएम रिपोर्ट के  बाद ही स्पष्ट हो सकेगा पर इस मामले में पुलिस  के लापरबाह रबैय को देखकर  लगता है ग़रीबों की सुनने बाला कोई नहीं है। 


About Author

Mp Breaking News

Other Latest News