Gwalior किले पर गंदगी देख भड़के पर्यटन मंत्री, बोले- नहीं कर सकते हो तो राज्य सरकार को दे दें ?

Atul Saxena
Published on -

ग्वालियर, अतुल सक्सेना। केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी ग्वालियर किले (Gwalior Fort) पर गंदगी देखकर भड़क गए। उन्होंने आर्कियोलॉजिकल सर्वे ऑफ़ इंडिया (ASI) के अधिकारियों को जमकर फटकार लगाई। किले पर गंदगी और कचरा देखकर केंद्रीय पर्यटन मंत्री ने फटकार लगाते हुए कहा कि आप लोग सफाई नहीं करवा सकते तो मुझे झाड़ू दे दीजिये मैं साफ कर देता हैं , पर्यटन मंत्री यहीं नहीं रुके उन्होंने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि आप लोग ऐतिहासिक स्थलों की जिम्मेदारी नहीं उठा सकते तो इसे राज्य सरकार को दे देते हैं। मंत्री के तेवर देखर ASI के अधिकारी बगलें झाँकने लगे।

ग्वालियर स्थित केंद्र सरकार के पर्यटन मंत्रालय के संस्थान भारतीय यात्रा एवं पर्यटन संस्थान (IITTM) में विकास कार्यों का लोकार्पण करने एक दिवसीय प्रवास पर मंगलवार को ग्वलियर आये केंद्रीय पर्यटन मंत्री जी किशन रेड्डी (Union Tourism Minister G Kishan Reddy) ने मंगलवार को सुबह ग्वालियर के ऐतिहासिक किले का निरीक्षण किया।

ये भी पढ़ें – महिला दिवस पर गृह मंत्री की घोषणा, प्रदेश में आज ट्रैफिक संभालेंगी महिला पुलिस

उन्होंने ग्वालियर किले की खूबसूरती को निहारा और इसकी वास्तुकला की तारीफ की। लेकिन केंद्रीय पर्यटन मंत्री जब मानसिंह पैलेस के पास लाइट एन्ड साउंड वाले स्थल पर सीढ़ियों से चढ़ने लगे तो उन्हें वहां गंदगी और कचरा दिखाई दिया  जिसपर वे भड़क गए। उन्होंने ASI के अधिकारियों को जमकर फटकार लगाई।

ये भी पढ़ें – MP कर्मचारियों-अधिकारियों को बड़ा झटका, 6 हजार से ज्यादा की सैलरी रोकी! जानें कारण

ASI के रीजनल डायरेक्टर को फटकार लगाते हुए केंद्रीय पर्यटन मंत्री ने कहा कि पर्याप्त स्टाफ के बावजूद यदि आप लोग सफाई नहीं रख सकते तो इसे राज्य सरकार को दे दते हैं।  उन्होंने ग्वालियर किले के इंचार्ज ASI अधिकारी को फटकार लगाते हुए कहा कि आप लोगों को जब मालूम था कि मंत्री आ रहे हैं तब भी सफाई नहीं कराई, आप से नहीं हो सकता तो लाइए मुझे झाड़ू दीजिये मैं कर देता हूँ।  मंत्री के कड़े तेवर देखकर ASI के अधिकारियों की हालत ख़राब हो गई और वे बगलें झाँकने लगे।

ये भी पढें –  Gold Silver Rate : चांदी लुढ़की, सोना पुरानी कीमत पर, ये है ताजा रेट


About Author
Atul Saxena

Atul Saxena

पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

Other Latest News