इंदौर| नशे की लत इंसान के जीवन को कहा से कहा पहुंचा देती है इसका ताजा उदाहरण इंदौर में देखने को मिला | जब एक वाहन चोर गिरोह का पर्दाफाश इंदौर पुलिस व क्राइम ब्रांच ने किया। दरअसल, पुलिस की गिरफ्त 3 ऐसे शातिर वाहन चोर आये है जो योजनाबद्ध तरीके से दो पहिया वाहनों की चोरी को अंजाम देते थे और उसे बेहद आसानी से बेच भी देते थे। पुलिस ने पकड़े गए आरोपियों से 8 लाख की कीमत रखने वाले 10 दोपहिया वाहनों को भी बरामद किया है।
इंदौर क्राइम ब्रांच की माने तो मुखबिर से मिली के आधार पर पता चला कि एम.जी. रोड थाना क्षेत्र में कुछ लड़के चोरी के दोपहिया वाहनों को बेचने की फिराक में घूम रहे हैं। प्राप्त सूचना के आधार पर क्राईम ब्रांच की टीम द्वारा थाना एम.जी . रोड पुलिस के साथ संयुक्त कार्यवाही करते हुये सघन छानबीन के बाद पत्थर गोदाम कलाली के सामने से स���देही व्यक्तियों को घेरांबदी कर पकड़ लिया। पूछताछ में युवको ने अपना नाम प्रवीण उर्फ टिंकू उम्र 25 वर्ष, भूपेंद्र उर्फ बंटी उम्र 21 वर्ष व यशवंत उर्फ गोलु उम्र 23 वर्ष तीनों निवासी धोबी घाट कर्बला मैदान के पास इंदौर का होना बताया। इनके पास से एक्टिवा एम.पी .09 एस. एस. 0389 सफेद रंग की के संबंध में दस्तावेज का पता लगाया तब तीनो कागजात अपने पास नहीं होना बताया तथा पूछताछ के दौरान ही गाडी छोडकर भागने लगे।
चोरी के कारनामे भी कमाल के
आरोपियों को पकड़ने के बाद पूछताछ करने पर खुलासा हुआ कि वाहन चोरी का है जिसे बेचने के लिए इनमे से एक भाई ग्राहक ढूंढ रहा था। इसके बाद आरोपियों को वाहन चोरी करने के जुर्म में पुलिस ने हिरसल में लिया| जिसके बाद आरोपी यशवंत ने बताया कि वे लंबे समय से वाहन चोरी कर रहे और शहर के विभिन्न थाना क्षेत्रों से उन्होंने वाहन चुराए है। आरोपी यशवंत उर्फ गोलु ने पूछताछ मे बताया कि हम तीनों सगे भाई है व नशा करने का शौक पूरा करने व शहर मे रात के समय घूमने के लिए निकलते है और जहाँ भी सुनसान इलाके या गली कूचे मे कोई मोटर साइकल खड़ी दिखती थी तो पास में रखी पुरानी चाबी जिससे मोटर साइकल का ताला खुल जाता था उसे चोरी कर लेते थे और जहाँ भी उसका पेट्रोल खत्म हो जाता था वहीं उसे छोड़ देते थे | यदि वह स्थान घर से दूर होता है तो वहीं आस-पास से एक और मोटर साइकल उसी तरह से चोरी कर लेते थे और घर आने के थोड़ी दूर पहले उसे छोड़ देते थे| फिर अगले दिन भूपेंद्र उर्फ बंटी उस स्थान पर जाकर देखता था कि मोटर साइकल खड़ी हे कि नहीं यदि खड़ी है तो उसे ग्राहक को बेचने के लिए फिर से उठा लेते थे । तीनों भाइयों मे यशवंत ही वाहन चोरी करने का प्लान बनाता था व अन्य दोनों भाई भूपेंद्र एवं प्रवीण उसकी मदद करते थे और तीनों एक साथ उसी चोरी कि बाईक पर घूमते थे।