लोकायुक्त पुलिस ने 1,50,000 रुपये की रिश्वत लेते पुलिस आरक्षक को गिरफ्तार किया

Atul Saxena
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इंदौर, डेस्क रिपोर्ट। इंदौर लोकायुक्त पुलिस (Indore Lokayukta Police) ने 1,50,000/- रुपये की रिश्वत लेते हुए एक पुलिस आरक्षक को रंगे हाथ गिरफ्तार किया है।  आरक्षक ने एक बेरोजगार युवक से शासकीय नौकरी दिलाने के नाम पर सिंहवत मांगी थी। जिसकी शिकायत के आधार पर आज रिश्वत लेते आरक्षक को ट्रैप कर लिया गया।

लोकायुक्त से मिली जानकारी के अनुसार इंदौर के 91 अरण्य नगर स्किम नंबर 78 – A में रहने वाले योगेश ठाकुर उच्च शिक्षित हैं वो नौकरी की तलाश में है। इस दरमियान उसकी मुलाकात ईश्वरनाथ योगी से हुई , ईश्वरनाथ योगी  34 वीं वाहिनी, बी कंपनी धार में पदस्थ है फ़िलहाल वो कोतवाली इंदौर से सम्बद्ध है।

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योगी ने योगेश को भरोसा दिया कि वो उसे शासकीय नौकरी यूनिवर्सिटी में रजिस्ट्रार या एससी एक्जाम के माध्यम से नौकरी लगवा देगा उसके बदले उसे 8 लाख रुपये देना होंगे। एक शासकीय कर्मचारी द्वारा 8 लाख रुपये की रिश्वत की मांग सुनकर योगेश सकपका गया उसने इसकी शिकायत लोकायुक्त पुलिस इंदौर कार्यालय में की।

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लोकायुक्त पुलिस ने मामले की जाँच की और शिकायत सही पाए जाने के बाद समझाइश देकर रिश्वर की पहली किश्त की रकम 1,50,000/- रुपये लेकर आवेदक योगेश को आरक्षक ईश्वरनाथ योगी के पास भेजा।  जैसे ही योगेश ठाकुर ने रिश्वत की राशि 1,50,000/- रुपये आरक्षक ईश्वरनाथ योगी की दी पहले से तैयार लोकायुक्त पुलिस इंदौर की टीम ने उसे रंगे हाथ गिरफ्तार कर लिया। पुलिस ने आरोपी के विरुद्ध धारा 7 भ्रष्टाचार निवारण संशोधित अधिनियम के अंतर्गत मामला दर्ज कर लिया ।

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पत्रकारिता मेरे लिए एक मिशन है, हालाँकि आज की पत्रकारिता ना ब्रह्माण्ड के पहले पत्रकार देवर्षि नारद वाली है और ना ही गणेश शंकर विद्यार्थी वाली, फिर भी मेरा ऐसा मानना है कि यदि खबर को सिर्फ खबर ही रहने दिया जाये तो ये ही सही अर्थों में पत्रकारिता है और मैं इसी मिशन पर पिछले तीन दशकों से ज्यादा समय से लगा हुआ हूँ....पत्रकारिता के इस भौतिकवादी युग में मेरे जीवन में कई उतार चढ़ाव आये, बहुत सी चुनौतियों का सामना करना पड़ा लेकिन इसके बाद भी ना मैं डरा और ना ही अपने रास्ते से हटा ....पत्रकारिता मेरे जीवन का वो हिस्सा है जिसमें सच्ची और सही ख़बरें मेरी पहचान हैं ....

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