इंदौर, आकाश धोलपुरे। रूस – यूक्रेन युद्ध (Russia – Ukraine War) के बीच से हजारों भारतीय स्टूडेंट्स और अन्य भारतीय नागरिकों को भारत सरकार वापस ले आई है लेकिन अब उन मेडिकल स्टूडेंट्स (medical students) का भविष्य अधर में लटका हुआ है जो बीच में ही अपनी जान की खातिर अपनी पढ़ाई अधूरी छोड़कर भारत वापसी कर चुके है। इसे स्टूडेंट्स यहाँ वहां भटक रहें हैं, कोई कॉलेज उन्हें एडमिशन देने के लिए तैयार नहीं है, इधर अब इसपर राजनीति भी शुरू हो गई है। कांग्रेस ने बच्चों के भविष्य को लेकर भाजपा पर सवाल उठाये हैं।
मध्य प्रदेश (MP Congress) के करीब 200 मेडिकल स्टूडेंट्स को यूक्रेन से निकालकर सही सलामत ले आया गया है लेकिन यूक्रेन में रहकर मेडिकल की पढ़ाई कर भविष्य के डॉक्टर बनने का सपना देख रहे इन स्टूडेंट्स की मुश्किलें बढ़ गई है। यूक्रेन के हालात खराब है वो बहुत हद तक तबाह हो चुका है ऐसे में मेडिकल स्टूडेंट्स का भविष्य अधर में लटक गया है। इंदौर सहित मध्य प्रदेश और देश के स्टूडेंट्स अब केंद्र सरकार से राहत की अपील कर रहे हैं ताकि वो भारत में ही अपनी पढ़ाई जारी रख सके। इधर, इस मामले को लेकर कांग्रेस अब प्रदेश और केंद्र सरकार को घेरने की कोशिश में जुट गई है।
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दरअसल, लाखों रुपये का लोन लेने के साथ ही यूक्रेन में डॉक्टरी की पढ़ाई करने गए स्टूडेंट्स की परेशानी रूस – यूक्रेन वार ने बढ़ा दी है। जहां स्टूडेंट्स के प्रतिनिधि जल्द ही गृहमंत्री से मिलकर अपनी 10 मांगों को रखने वाले हैं वहीं दूसरी ओर स्टूडेंट्स को लेकर कांग्रेस सरकार पर हमलावर हो चुकी है।
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मध्य प्रदेश कांग्रेस कमेटी के प्रवक्ता मिलाप शुक्ला के मुताबिक बच्चे बड़ी मुश्किल से यूक्रेन से जान बचाकर वापस आये है, उनके माता – पिता ने अपनी तमाम जमा पूंजी उनकी पढ़ाई पर खर्च कर दी। कई बच्चों ने बैंकों से कर्ज भी लिया था और वो जिन यूनिवर्सिटीज में वो पढ़ाई कर रहे थे वो या तो बंद हो चुकी है या तो तबाह हो चुकी है। ऐसे में बच्चों के मन में सवाल है कि उनकी आगे की पढ़ाई कैसे होगी। अब बच्चे नेता मंत्रियों के पीछे दर – दर भटक रहे हैं और देश की यूनिवर्सिटीज के चक्कर लगा रहे हैं ताकि उन्हें एडमिशन मिल जाये और उनकी पढ़ाई पूरी हो जाये। ऐसे में मध्य प्रदेश की सरकार को ये सुनिश्चित करना चाहिए यूक्रेन से लौटे बच्चो की पढ़ाई पूरी हो और उन्हें आर्थिक सहायता भी दी जानी चाहिये।
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कांग्रेस प्रवक्ता ने भाजपा (BJP Madhya Pradesh) पर सवाल उठाते हुए कहा कि बच्चे कैसे बॉर्डर – बॉर्डर घूमने के बाद अपनी जान हथेली पर रखकर देश पहुंचे और तीन गुना किराया देकर देश में आये। लेकिन भाजपा ने परम्परा के अनुसार इसे भी इवेंट बना दिया और खूब श्रेय लिया। कांग्रेस ने कहा कि अगर भाजपा वाकई में बच्चो की हितैषी है तो वो कम खर्च पर बच्चों की आगे की पढ़ाई सुनिश्चित कराए।
इस मामले को लेकर भाजपा के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय (Kailash Vijayvargiya) ने कहा कि ये एक परिस्थिति है जिस पर सबको विचार करना होगा यदि यूक्रेन से लौटे बच्चों को यहां एडमिशन दें तो जो भारत में पढ़ रहे मेधावी छात्रों के मन में आक्रोश होगा कि हमने परीक्षा पास की और हमारे बराबर इनको खड़ा कर रहे हैं। लेकिन इन बच्चों का जीवन खराब न हो और उनकी शिक्षा के बारे में सरकार जरूर विचार करेगी ऐसा मेरा विश्वास है।