Indore: लाल चंदन यानी की ब्लड सैंडलवुड बहुत ही बेशकीमती होता है। इसकी कीमत काफी ज्यादा होती है और यह अपने औषधीय गुणों की वजह से पहचाना जाता है। यह त्वचा, पेट और स्त्री रोगों में काफी कारगर माना गया है। वैसे तो भारत के दक्षिणी इलाके में यह पाया जाता है लेकिन हम मध्य प्रदेश के इंदौर में भी लाल चंदन उगाया जाएगा। शहर के नवरतन बाग में वन विभाग की नर्सरी में लगभग 25000 बीज रोपे गए हैं। यहां पर प्रयोग किया जा रहा है की लाल चंदन यहां उग पाता है या नहीं क्योंकि इसकी राष्ट्र और अंतरराष्ट्रीय बाजारों में काफी मांग होती है।
रोपा गया लाल चंदन
जानकारी के मुताबिक लाल चंदन के बीज नागपुर से लाए गए हैं और नर्सरी में रोप दिए गए हैं। जुलाई तक इनमें से पौधे निकालने की संभावना है। अगर वन विभाग का यह प्रयोग सफल हो जाता है तो कृषि के क्षेत्र में नई संभावनाएं सामने आएंगे। वन मंडल के अधिकारियों का कहना है कि जब गुजरात का नारियल इंदौर में हो सकता है, तो दक्षिण भारत का लाल चंदन भी हमारी धरती पर जरूर उपजेगा।
ऐसा चाहिए होता है मौसम
लाल चंदन की खेती के लिए उसे तरह का माहौल होना भी जरूरी है, जो इसे अच्छी तरह से उगने में मदद कर सके। बता दे कि यह शुष्क और गर्म जलवायु में 4.5 से 6.5 वाली अच्छी उपजाऊ मिट्टी में उगता है। यह एक विनियमित लकड़ी होती है जो लाल रंग की रहती है और कई सारे औषधीय गुणों से भरी होती है। मई और जून के बीच इसका रोपण किया जाता है।
नि:शुल्क मिलेंगे पौधे
सबसे अच्छी बात यह है कि जिन बीजों को रोपा गया है। उनमें से पौधे निकालने के बाद इन्हें शहर के लोगों में नि:शुल्क बांटा जाएगा। ऐसा इसलिए किया जाएगा ताकि लोग इनका संरक्षण कर इन्हें बड़ा कर सके। यह प्रयोग सफल होता है तो लोग इसकी खेती और पौधे लगाने के लिए प्रेरित हो सकेंगे।