इंदौर। आकाश धोलपुरे। लॉक डाउन लगने के बाद कोरोना सस्पेक्ट की जांच टीम पर इंदौर के टाटपट्टी बाखल में 1 अप्रैल को हमला करने हमलावरों की जमानत याचिका का कोर्ट ने खारिज कर दी है। दरअसल, टाटपट्टी बाखल में स्वास्थ्य सेवाओं से जुड़े डॉक्टरों की टीम पर हमला कर दिया था जिसके बाद जैसे तैसे टीम मौके से निकलकर जान बचाने में सफल रही थी। इसके बाद डॉक्टर और आशा कार्यकर्ता की रिपोर्ट पर दोषियो पर कार्रवाई कर उन्हें जेल भेज दिया गया था।
इंदौर अपर सत्र न्यायालय ने टाट पट्टी बाखल में स्वास्थ्य और आयुष विभाग की टीम पर हमला करने वाले आरोपियों की जमानत याचिका खारिज कर दी है। आरोपियों के वकील पक्ष द्वारा जमानत याचिका दाखिल की गई थी और कोर्ट से मांग कर दलील दी गई कि उनके द्वारा यह कृत्य नहीं किया गया है और वह इंदौर के स्थानीय निवासी हैं जितनी भी धाराएं लगाई गई हैं वह सब जमानत योग्य धारा है और इस आधार पर उन्हें जमानत मिलना चाहिए ।
इधर, शासन की ओर से अपर लोक अभियोजक अभिजीत सिंह राठौर ने बताया कि आरोपी नावेद, शावेज और आबिद ने जमानत के लिए अर्जी दाखिल की थी जिसमे कहा गया था कि तीनों के खिलाफ कोई और कोई दूसरा अपराध नहीं है वह मूल रूप से इंदौर के रहने वाले हैं और जमानत पर कहीं नही जाने वाले हैं। केस दर्ज होने के बाद से वो जेल में है ऐसे में शर्तों के साथ उन्हें जमानत मिलनी चाहिए । अपर लोक अभियोजक राठौर ने बताया कि कोर्ट में उन्होंने शासन की ओर से पक्ष रखा कि कोरोनार संक्रमण के दौर में डॉक्टर मुश्किल हालात में काम कर रहे हैं ऐसे में जमानत मिली तो अधिकारी, कर्मचारी और डॉक्टर्स का मनोबल गिरेगा लिहाजा केस में जमानत का लाभ नहीं दिया जाना चाहिए। इसके बाद अपर सत्र न्यायाधीश शाहबुद्दीन हाशमी की न्यायालय में जमानत याचिका पर सुनवाई हुई और न्यायालय द्वारा सभी आरोपियों की जमानत खारिज कर दी गई।