Sat, Dec 27, 2025

हम तो उन्हें लाल जी कहकर बुलाते थे, वे बड़े भाई की तरह थे: सुमित्रा महाजन

Published:
Last Updated:
हम तो उन्हें लाल जी कहकर बुलाते थे, वे बड़े भाई की तरह थे: सुमित्रा महाजन

इंदौर।अतुल सक्सेना।

आकाश धोलपुरे। पूर्व लोकसभा स्पि सुमित्रा महाजन ने राज्यपाल लाल जी टंडन  के साथ बिताए समय को  याद करते हुए उनके प्रसंग साझा किए। अपने अनुभव के हिसाब पूर्व लोकसभा स्पीकर सुमित्रा महाजन ने बताय कि हम तो उन्हें लाल जी कहकर बुलाते थे वो हमारे बड़े भाई की तरह थे। हमेशा सब को साथ लेकर चलते थे और पार्टी को बनाने में उनका बहुत बड़ा योगदान था। हर कार्यकर्ता की परेशानी को अपनी परेशानी समझते वाले लाल जी टन्डन केवल राजनीति ही नही बल्कि संस्कृति का भी बहुत ध्यान रखते थे।

उन्होंने लखनऊ पर एक किताब लिखी थी जिसमे लखनऊ के बारे में उन्होंने बताया था और उसकी विशेषताये बताई थी।  ये सब अभ्यास से लिखा था उन्होंने वही अटल जी की स्मृति में संस्कृत केंद बनवाया। उनका यूं चले जाना पार्टी के लिए बड़ी हानि है हमने एक बड़े भाई को खो दिया है। ताई ने लालजी टंडन के साथ बिताये वक्त और स्मृति द्वारा भाजपा नेताओं को भेंट की गई इत्र की शीशियों के प्रसंग को भी याद किया और कहा कि एक बार उन्होंने राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में सब को इत्र बाटे थे और जब मैने उनसे पूछा मुझे भी ये करना है तो मेरे लिए उन्होंने सब इंतजाम भी किए। इत्र बाटना अच्छा होता है इस से हम अच्छी सुगंध लोगो तक पहुचाते है उनकी कई स्मृतियां हमारे साथ आज भी है।