जबलपुर, संदीप कुमार। स्मैक के अवैध (Illegal Smack) कारोबार में सजा से दण्डित युवक को जबलपुर हाईकोर्ट (Jabalpur Highcourt) से झटका लगा है। हाईकोर्ट जस्टिस सुजय पॉल (High Court Justice Sujay Paul) की एकलपीठ ने निचली अदालत द्वारा दी गई सजा को बरकरार रखते हुए याचिका को खारिज कर दिया।
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याचिकाकर्ता राजू उर्फ सुरेन्द्र नाथ सोनकर की तरफ से दायर की गयी याचिका में कहा गया था कि निचली अदालत ने 51 ग्राम स्मैक रखने के आरोप में उसे तीन साल के कारावास और 25 हजार रूपये के अर्थदण्ड की सजा से दण्डित किया था. याचिका में आरोप लगाते हुए कहा गया था कि पुलिस द्वारा कार्रवाई में एनडीपीसी एक्ट की धारा 50 (Section 50 of NDPC Act) के प्रावधानों का पालन नहीं किया गया है।तलाशी के दौरान जिन्हें गवाह बनाया गया था, वह कोर्ट में अपने बयान से पलट गये थे।
हाई कोर्ट एकलपीठ ने याचिका को खारिज करते हुए कहा कि आरोपी को पंचनामा में लिखित सहमति प्रदान की है कि वह पुलिसकर्मी को तलाशी देने तैयार है। पुलिस (Jabalpur News) द्वारा उसे बताया गया था कि कानूनी संवैधानिक अधिकार है कि वह अपनी तलाशी राजपत्रित अधिकारी या मजिस्टेट के सामने दे सकता है। पुलिस ने कार्रवाई में किसी कानूनी संवैधानिक अधिकारों का उल्लंधन नहीं किया है। निचली अदालत (Lower Court) ने प्रस्तुत अन्य साक्ष्यों के आधार पर याचिकाकर्ता को सजा से दण्डित किया है. एकलपीठ ने उक्त आदेश के साथ याचिका को खारिज कर दिया है।