जबलपुर आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय में परीक्षा नियंत्रक डाॅक्टर वृंदा सक्सेना को हटाने के आदेश जारी

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जबलपुर, डेस्क रिपोर्ट। जबलपुर के आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय में एक बार फिर परीक्षा नियंत्रक डाॅक्टर वृंदा सक्सेना को हटाने के आदेश हुए हैं। मप्र चिकित्सा विभाग ने इसका पत्र जारी करते हुए कुलपति को निर्देशित किया है। कि उन्हे जल्द वापस उनके मूल विभाग भेजा जाए।  गौरतलब है कि परीक्षा नियंत्रक की प्रतिनियुक्ति समाप्त हो चुकी है और अब चिकित्सा विभाग उनकी प्रतिनियुक्ति आगे नहीं बढ़ा रहा है।

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मप्र चिकित्सा विभाग के जारी आदेश में  कहा कि आयुर्विज्ञान विवि जबलपुर की परीक्षा नियंत्रक का काम देख रही डाॅक्टर वृंदा सक्सेना की प्रतिनियुक्ति समाप्त हो चुकी है इसलिए तत्काल पद से अलग कर दिया जाना चाहिए। डाॅक्टर वृंदा सक्सेना को अपने मूल विभाग शासकीय चिकित्सालय दंत इंदौर लौटने को कहा है।

हमेशा विवादों और सुर्खियों में रहने वाली जबलपुर मेडिकल यूनिवर्सिटी में पिछले एक साल से परीक्षा परिणामों को लेकर कई अधिकारी सवालों के घेरे आ चुके है। इन्ही सब कारणों के चलते कुलपति तक को इस्तीफा देना पड़ा था। फिलहाल संभागायुक्त बी. चंद्रशेखर कार्यवाहक कुलपति का कार्यभार संभाल रहे हैं। शासन द्वारा मेडिकल विवि में उप कुलसचिव के पद पर पदस्थ रहीं डाॅक्टर पूजा शर्मा और डाॅक्टर तृप्ती शर्मा को हटाकर उनके मूल विभाग अधिष्ठाता चिकित्सा महाविद्यालय वापस कर दिया गया है। मेडिकल यूनिवर्सिटी की परीक्षा नियंत्रक डाॅक्टर वृंदा सक्सेना जिनके पास में परीक्षा के नियंत्रण का अधिकार था। ऐसा आरोप लगाया गया है कि उनके मेल पर पास और फेल होने की जानकारियां आती थीं और लाॅजिक कंपनी के पास भेजा जाता था और उसी के आधार पर माइंड लाजिक्स कंपनी परीक्षा परिणामों में फेरबदल कर देती थी। जांच की जानकारी के अनुसार जिस समय वृंदा सक्सेना की ईमेल का इस्तेमाल हुआ है, उस समय वृंदा सक्सेना छुट्टी पर थीं जिसके बाद तमाम आरोप किसी और के माथे मढ़ दिए गए थे।


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Harpreet Kaur

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