MP Tourism: घूमने फिरने के लिहाज से मध्य प्रदेश एक शानदार जगह है। यहां कई पौराणिक और ऐतिहासिक स्थल मौजूद है जो पर्यटकों का ध्यान अपनी और आकर्षित करते हैं। आज हम आपको एक ऐसे शहर के बारे में बताने जा रहे हैं जो पर्यटन की दृष्टि से उपयुक्त तो है ही लेकिन औद्योगिक गतिविधियों के लिए भी जगह के बहुत मायने हैं। यहां पर नोट छापने की फैक्ट्री है जिसके चलते ये देशभर में प्रसिद्ध है।
हम बात कर रहे हैं मध्य प्रदेश के इंदौर से महज 35 किलोमीटर दूर देवास शहर की जो अपनी माता टेकरी के लिए विशेष तौर पर प्रसिद्ध है। यहां पर कई सारे पर्यटक स्थल मौजूद है जहां आप घूमने फिरने के लिए जा सकते हैं।
MP Tourism में करें यहां की सैर
माता टेकरी
देवास का सबसे प्रसिद्ध स्थल अगर कोई है तो वह है यहां की माता टेकरी, जहां दर्शन करने के लिए भक्तों का हुजूम दूर-दूर से पहुंचता है। पहाड़ी पर मौजूद इस मंदिर में हमेशा ही भक्तों का तांता लगा रहता है। यहां पर बड़ी मां और छोटी मां अलग-अलग रूप में विराजित है। जिन्हें तुलजा भवानी और चामुंडा माता के नाम से जाना जाता है। ये जगह भारत के शक्तिपीठों में शामिल है।
देवास माता मंदिर
शहर में मौजूद देवास माता मंदिर एक प्रसिद्ध धार्मिक स्थल है। नवरात्रि के दौरान यहां बड़ी संख्या में भक्तों का जमावड़ा लगता है। यह मंदिर एक पहाड़ी पर मौजूद है जहां भैरू बाबा भी विराजित है। कहा जाता है कि उनके दर्शन किए बगैर माता के दर्शन अधूरे रहते हैं।
गिदीया खो
ये एक ऐतिहासिक स्थल है जो अपनी प्राकृतिक सुंदरता के चलते बहुत प्रसिद्ध है। यहां आदिवासी अंचल के खुडैल देवता का बहुत प्रसिद्ध और पुराना मंदिर स्थित है। यहां होने वाले सांस्कृतिक कार्यक्रम पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करते हैं। यहां एक खुसूरत जलप्रपात भी है जिसकी सुंदरता बारिश के दिनों में बढ़ जाती है।
पंवार छत्री
निवास के मीठा तालाब के पास पंवार शासकों ने छत्रियों का निर्माण करवाया था। मराठा वास्तुकला से प्रभावित इस जगह पर बहुत ही महीन कारीगरी उकेरी गई है जो देखने लायक है। अंदर और बाहर दोनों ही जगह से ये छत्रियां बहुत खूबसूरत लगती हैं। यहां आने वालें पर्यटक इस जगह पर जरूर जाते हैं।
कावड़िया हिल्स
कावड़िया हिल्स अलग-अलग आकारों के पत्थरों से बनी हुई एक खूबसूरत जगह है। बताया जाता है कि ये ज्वालामुखी के उद्गार से बनी है और इसमें से धातु जैसी ध्वनि सुनाई पड़ती है। ये हिल्स देवास के बागली से 10 किमी दूर धाराजी नामक जगह पर मौजूद है।