केंद्रीय नारकोटिक्स ब्यूरो ने की बड़ी कार्रवाई, पोस्ता स्ट्रॉ (डोडा चूरा) से भरे हुए ट्रक पकड़ा

Shashank Baranwal
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Neemuch News: मध्य प्रदेश के मंदसौर जिले में नशा विरोधी अभियान के तहत केंद्रीय नारकोटिक्स ब्यूरो (सीबीएन) के द्वारा बड़ी कार्रवाई की गई है। सीबीएन जावरा के अधिकारियों को नशीले पदार्थ पोस्ता स्ट्रॉ (डोडा चूरा) से भरी हुई ट्रक की खूफिया जानकारी मिली थी। जिसे सीबीएन की टीम ने मंदसौर जिले के लालघाटी- जग्गाखेड़ी रोड के पास ट्रक को पकड़ लिया। ट्रक में पोस्ता स्ट्रॉ से भरे हुए 122 प्लास्टिक बैग बरामद हुए। जिसका वजन 2,440 किलोग्राम था।

मंदसौर से पंजाब की तरफ जा रहा था ट्रक

खूफिया जानकारी के बाद सीबीएन जावारा के अधिकारियों की टीम का गठन कर 22 अक्टूबर को रेलवे क्रॉसिंग लालघाटी-जग्गाखेड़ी रोड पर कड़ी निगरानी के बाद ट्रक को हिरासत में ले लिया गया था। ट्रक राजस्थान राज्य में पंजीकृत था। जो कि अवैध पोस्ता स्ट्रॉ से भरा हुआ मंदसौर के रास्ते पंजाब की तरफ जा रहा था। जिसे कवर करने के लिए मक्के की बोरियां लदी हुई थी। ट्रक ड्राइवर से कड़ाई से पूछताछ करने पर ड्राइवर ने बताया कि ट्रक में अवैध पोस्टा स्ट्रॉ भरा हुआ है।

सीबीएन कार्यालय में ले जाकर ट्रक की ली गई तलाशी

सीबीएन जावरा के अधिकारियों ने ड्राइवर सहित ट्रक को हिरासत में लेकर सीबीएन कार्यालय लाया गया। जहां उसकी गहनता से जांच की गई। जांच के दौरान ट्रक में अवैध पोस्ता स्ट्रॉ के 122 बैग बरामद हुए। वहीं इसके बाद कानूनी औपचारिकताओं को पूरा करके अधिकारियों द्वारा ट्रक को जब्त कर लिया गया। अधिकारियों द्वारा एनडीपीएस अधिनियम, 1985 के तहत संबंधित धाराओं में एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर आगे की जांच की जा रही है।

नीमच से कमलेश सारडा की रिपोर्ट


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पत्रकारिता उन चुनिंदा पेशों में से है जो समाज को सार्थक रूप देने में सक्षम है। पत्रकार जितना ज्यादा अपने काम के प्रति ईमानदार होगा पत्रकारिता उतनी ही ज्यादा प्रखर और प्रभावकारी होगी। पत्रकारिता एक ऐसा क्षेत्र है जिसके जरिये हम मज़लूमों, शोषितों या वो लोग जो हाशिये पर है उनकी आवाज आसानी से उठा सकते हैं। पत्रकार समाज मे उतनी ही अहम भूमिका निभाता है जितना एक साहित्यकार, समाज विचारक। ये तीनों ही पुराने पूर्वाग्रह को तोड़ते हैं और अवचेतन समाज में चेतना जागृत करने का काम करते हैं। मशहूर शायर अकबर इलाहाबादी ने अपने इस शेर में बहुत सही तरीके से पत्रकारिता की भूमिका की बात कही है–खींचो न कमानों को न तलवार निकालो जब तोप मुक़ाबिल हो तो अख़बार निकालोमैं भी एक कलम का सिपाही हूँ और पत्रकारिता से जुड़ा हुआ हूँ। मुझे साहित्य में भी रुचि है । मैं एक समतामूलक समाज बनाने के लिये तत्पर हूँ।

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