इंदौर में कचरे जैसे साफ किये जा रहे बुजुर्गों के वायरल वीडियो पर एक्शन, मस्टरकर्मी पर गिरी गाज

Gaurav Sharma
Published on -

इंदौर, आकाश धोलपुरे। शुक्रवार को बुजुर्गों को रैन बसेरा ले जाते वक्त एक वीडियो वायरल हुआ है, जिसमें वृद्ध लोगों को कचरे की तरह गाड़ी में भरकर ले जाया जा रहा है। इस मामले को संज्ञान में लेते हुए इंदौर निगम कमिश्नर प्रतिभा पाल ने बसेरा के मस्टरकर्मी ब्रजेश लश्करी और विश्वास वाजपेयी की सेवा समाप्त कर दी है। वहीं पूरे मामले को लेकर निगम कमिश्नर का कहना है कि मामले की जांच कराई जा रही है और आगे की कार्रावई जांच के उपरांत की जाएगी।

गौरतलब है कि इंदौर में शुक्रवार को एक ऐसा वीडियो वायरल सामने आया, जिसने मानवता को शर्मसार कर दिया । दरअसल, वायरल वीडियो इंदौर का ही बताया जा रहा है, जिसमें नगर निगम का अतिक्रमण निरोध वाहन बड़ी संख्या में बुजुर्गों को भरकर शहर की सीमा से बाहर छोड़ रहा है। वायरल वीडियो के बारे में जो जानकारी सामने आई है, उससे पता चला है कि इंदौर को नम्बर 1 लाने के लिए मानवीय मूल्यों का हनन कर मानव अधिकारों का माखौल उड़ाया गया है।

जो जानकारी प्रारम्भिक तौर पर सामने आई , उसके मुताबिक निगम वाहन में शहर भर से फुटपाथ पर रहने वाले बुजुर्गों और भिक्षा मांगकर 2 वक्त की रोटी खाने पर मजबूर उम्रदराज लोगों को लेकर 12 बजे इंदौर से निकला था और करीब ढाई बजे भेड़ बकरियो की तरह बुजुर्गों को शहरी सीमा से बाहर उतार दिया गया।

फिलहाल, अमानवीयता की हदे पार कर देने वाली इस घटना ने एक तरह से शहर के प्रशासन को शर्मसार कर दिया है। क्योंकि बुजुर्गी को उठाकर बकायदा सम्मान के साथ वृद्धाश्रम जैसी संस्थाओं में ले जाकर उनके पुर्नवास की व्यवस्था की जा सकती थी। अब ये वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल है।


About Author
Gaurav Sharma

Gaurav Sharma

पत्रकारिता पेशा नहीं ज़िम्मेदारी है और जब बात ज़िम्मेदारी की होती है तब ईमानदारी और जवाबदारी से दूरी बनाना असंभव हो जाता है। एक पत्रकार की जवाबदारी समाज के लिए उतनी ही आवश्यक होती है जितनी परिवार के लिए क्यूंकि समाज का हर वर्ग हर शख्स पत्रकार पर आंख बंद कर उस तरह ही भरोसा करता है जितना एक परिवार का सदस्य करता है। पत्रकारिता मनुष्य को समाज के हर परिवेश हर घटनाक्रम से अवगत कराती है, यह इतनी व्यापक है कि जीवन का कोई भी पक्ष इससे अछूता नहीं है। यह समाज की विकृतियों का पर्दाफाश कर उन्हे नष्ट करने में हर वर्ग की मदद करती है।इसलिए पं. कमलापति त्रिपाठी ने लिखा है कि," ज्ञान और विज्ञान, दर्शन और साहित्य, कला और कारीगरी, राजनीति और अर्थनीति, समाजशास्त्र और इतिहास, संघर्ष तथा क्रांति, उत्थान और पतन, निर्माण और विनाश, प्रगति और दुर्गति के छोटे-बड़े प्रवाहों को प्रतिबिंबित करने में पत्रकारिता के समान दूसरा कौन सफल हो सकता है।

Other Latest News