राजगढ़।
मध्यप्रदेश के राजगढ़ सरकारी जिला अस्पताल की बदहाल व्यवस्था का एक और सच सामने आया है। राजगढ़ के जिला अस्पताल से जो घटना सामने आई है, वह बेहद ही शर्मनाक है। अस्पताल के स्टॉप ने अमानवीयता की हदें पार करते हुए एक ऐसी महिला से रिश्वत ली जिसका बच्चा मरा हुआ पैदा हुआ था। इस बात का पता तब चला जब नए साल के दिन कांग्रेस के राजगढ़ विधायक बापू सिंह तंवर जब मरीजो को फल बाटने अस्पताल पहुचे ,साथ मे जिला अस्पताल के मुख्य स्वास्थ्य अधिकारी भी मौजूद थे उसी वक्त एक महिला गेंदा बाई ने शिकायत करते हुए बताया कि उसकी बहु राधा बाई को डिलेवरी के लिए यह भर्ती किया गया था , राधा बाई को मरा हुआ बच्चा हुआ हुआ था जिसको जिंदा बताकर अस्पताल के स्टाप ने उनसे 4 हजार रुपये की रिश्वत तक ले ली ।
इस शिकायत ने स्वास्थ्य विभाग पर बड़ा प्रश्नचिह्न खड़ा कर दिया है। लेकिन कांग्रेस विधायक जी भी अपनी नेता गिरी चमका कर चले गए ।हालांकि शिकायत होने के बाद सीएम एच ओ डॉ विजय सिंह ने जिला अस्पताल में ड्यूटी के समय मौजूद कर्मचारियों की जांच करवाने की बात कही है ।आरोप है कि ब्यावरा निवसी एक गर्भवती महिला राधा बाई पति संजू जाटव को ब्यावरा अस्पताल से रेफर कर जिला अस्पताल राजगढ़ भेजा गया था। राजगढ़ जिला अस्पताल में महिला को भर्ती किया गया ,जहा प्रसूता दर्द से कराहती रही लेकिन मौजूदा स्टाप ने हाथ तक नही लगाया, महिला के पति संजू जाटव की शिकायत है कि,मौजूद स्टाप ने डिलेवरी करवाने ओर जच्चा ,बच्चा दोनों को सुरक्षित रखने को लेकर प्रसूता के परिजनों से रिश्वत लेने की मांग पर अड़ गई। प्रसूता को तड़पता देख परिजन पैसे देने को तैयार हो गए ।
आरोप है कि स्टाप ने मृत बच्चे की धड़कन को चालू बताकर SNCU में भर्ती करवा दिया , जिसके बाद डिलेवरी करवाने वालो स्टाप ने 4 हजार रुपये ले लिए ,ओर 3 घण्टे बाद बच्चे को मृत घोषित कर दिया गया , इतना ही नही बच्चा मरने के बाद जब अस्पताल से महिला राधा बाई को डिस्चार्ज कर जिस एम्बुलेंस से छोड़ा गया उसने भी 200 रुपये की रिश्वत ले -ली , एम्बुलेंस ड्राइवर ने कहा कि 200 रुपये दोगे तो छोडूंगा । अब पीड़िता राधा बाई के पति संजू का कहना है कि ऐसे लोगो पर कार्रवाई होना चाहिए ताकि आगे से किसी ओर ब्यक्ति के साथ ऐसा न हो ।वही जिला स्वास्थ्य अधिकारी इस मामले में जांच के बाद दोषियों पर कार्रवाई करने की बात कह रहे है ।।