सतना।
आज के दौर में एक तरफ जहां अच्छी शिक्षा के लिए माता-पिता अपने बच्चों का एडमिशन महंगे से मंहगे निजी स्कूलों में कराने की दौड़ में लगे हुए है वहीं दूसरी ओर एमपी की सतना जिले में पदस्थ सीईओ प्रेरणा सिंह ने मिसाल कायम करते हुए अपनी बेटी का एडमिशन आंगनवाड़ी में करवाया है। इससे पहले प्रदेश में कलेक्टर पति-पत्नी ने अपने बच्चे का दाखिला आंगनवाड़ी में करा कर लोगों को प्रेरित किया था।
प्रेरणा सिंह रामनगर में सीईओ के पद पर कार्यरत हैं। सिंह की बेटी मणिकर्णिका ढ़ाई साल की है ।चाहती तो इस बदलते दौर में वह अपनी बेटी के लिए सभी सुविधाओं वाले प्राइवेट प्ले स्कूल को भी चुन सकती थीं लेकिन उन्होंने इससे परहेज करते हुए उसे आंगनवाड़ी में भेजने का रास्ता चुना। अब उनकी बेटी यहां अ, आ,इ, ई लेकर ए, बी, सी. डी भी सीखेंगी।
खबर है कि बीते दिनों जनपद पंचायत सीईओ प्रेरणा सिंह बाल दिवस के दिन जनपद पंचायत में हुए कार्यक्रम पर आंगनवाड़ी इटमा कला में पढ़ने वाले बच्चों की शानदार प्रस्तुतियों से प्रभावित हो गईं और उन्होंने अपनी बेटी का दाखिला कराने का फैसला कर लिया।ऐसा करके प्रेरणा सिंह समाज के उन बड़े और अमीर लोगों के लिए मिसाल बन गई हैं, जो अपने बच्चों को निजी और बड़े नाम वाले स्कूलों में पढ़ाने को अपनी शान समझते है।
जब किसी सरकारी अफसर के बच्चे सरकारी स्कूलों में पढ़ाई करते हैं, तब स्कूलों के बिगड़े हालत और पढ़ाई के स्तर में खुद ब खुद सुधार हो जाता है। शिक्षक समय से स्कूल आते हैं और संजीदगी से कक्षा में पहुंचते है और पढ़ाते भी हैं। यदि देश में शिक्षा के स्तर को सुधारना है तो अधिकारियों को अपने बच्चों का एडमिशन निजी स्कूलों के बजाए इन केंद्रों में कराना होगा।
प्रेरणा सिंह, सीईओ , सतना