Sun, Dec 28, 2025

Mahakal Security Rules: बाहरी व्यक्तियों के प्रवेश पर सख्त हुई मंदिर समिति, श्रद्धालुओं को ठगी से बचाने के लिए उठाए कड़े कदम

Written by:Diksha Bhanupriy
Published:
Mahakal Security Rules: बाहरी व्यक्तियों के प्रवेश पर सख्त हुई मंदिर समिति, श्रद्धालुओं को ठगी से बचाने के लिए उठाए कड़े कदम

Mahakal Security Rules: विश्व प्रसिद्ध महाकालेश्वर मन्दिर में रोज लाखों की संख्या में दर्शनार्थी दर्शन करने के लिए पहुंचते हैं। पिछले कुछ दिनों से बाहरी व्यक्तियों द्वारा पंडे पुजारी की वेशभूषा में यात्रियों से पैसे लेकर दर्शन करवाने के मामले लगातार सामने आ रहे हैं और इसको लेकर अब मंदिर प्रशासन सख्त हो गया है। अब अधिकारी लगातार निरीक्षण करने के साथ ही अनाधिकृत बाहरी व्यक्तियों पर प्रतिबंध लगाने की कार्रवाई करते दिखाई दे रहे हैं और एक व्यक्ति पर ये आदेश जारी कर दिया गया है।

Mahakal Security Rules हुए सख्त

महाकालेश्वर मंदिर में देश भर से श्रद्धालुओं के बिगड़ दर्शन करने के लिए पहुंच रही है। बाहर से आने वाले श्रद्धालुओं को मंदिर के बारे में ज्यादा जानकारी नहीं होती है और इसी का फायदा ठगी करने वाले उठा रहे हैं।

यही वजह है कि अब मंदिर समिति ने रसीद और भस्म आरती की अनुमति के नाम पर ठगी करने वालों पर शिकंजा कसने का प्लान बना लिया है और मंदिर प्रशासन के अधिकारी प्रतिदिन आकस्मिक निरीक्षण करते हुए अनाधिकृत रूप से घूमने वाले व्यक्तियों से पूछताछ कर रहे हैं।

 

एक व्यक्ति पर लगी रोक

बीते दिन मंदिर की उप प्रशासक कृतिका भीमावत ने परिसर में बैठने वाले मंदिरों के आईडी कार्ड लेकर उनसे जानकारी ली थी। इसके बाद अधिकारियों ने अपने निरीक्षण के दौरान 1 श्रद्धालुओं के साथ जा रहे व्यक्ति से पूछताछ की तो वह संतोषजनक जवाब नहीं दे सका। हालांकि, उसके साथ जा रहे व्यक्ति के पास टिकट था और जिस व्यक्ति से अधिकारी ने पूछताछ की वह पहले मंदिर में व्हीलचेयर चलाने का काम किया करता था।

फिलहाल इस व्यक्ति को काम अधिकृत नहीं किया गया है और अधिकारियों ने अब उसके मंदिर परिसर में घूमने पर भी रोक लगा दी है। हां, अगर वह दर्शन करना चाहता है तो सामान्य दर्शनार्थी की तरह प्रवेश कर सकता है।

निरीक्षण में सामने आई धांधली

महाकालेश्वर मंदिर समिति के अधिकारी लगातार दर्शनार्थी मार्ग का निरीक्षण कर रहे हैं। बीते दिनों जब चेकिंग की गई तो 75 श्रद्धालु बिना टिकट के दर्शन करने के लिए एंट्री लेते हुए दिखाई दिए थे।

उनसे पूछताछ की गई तो उन्होंने बताया कि मंदिर के ही एक अधिकारी ने उन्हें जाने की अनुमति दी है और संबंधित अधिकारी ने इस मामले में बताया कि दानदाताओं को प्रवेश के लिए कहा था लेकिन 75 श्रद्धालु की परमिशन नहीं दी है।

प्रशासक संदीप सोनी ने बताया था कि कुछ दानदाता श्रद्धालु थे उन्हें प्रवेश देने के लिए बोला था इनके साथ अन्य लोग भी प्रवेश कर गए हालांकि, बाद में सभी को दर्शन टिकट लेना पड़ा और उसी के बाद यह दर्शन कर सकें। अब इतनी बड़ी संख्या में जो श्रद्धालु बिना टिकट के दर्शन करने के लिए जा रहे थे उससे यह बड़ा सवाल खड़ा होता है कि आखिरकार इतने लोगों को बिना टिकट के एंट्री कैसे दे दी गई।