दरअसल, दशहरे से पहले रेलवे कर्मचारियों को दुर्गा पूजा बोनस दिया जाना है, जिसको लेकर चर्चाएं जोरों पर है। रेल कर्मचारियों को इस बार भी 78 दिनों के उत्पादकता आधारित बोनस के तौर पर 17951 रुपये मिलने के आसार हैं। रेलवे ने बोनस भुगतान की कागजी प्रक्रियाएं सितंबर के मध्य में ही पूरी ली है। वित्त विभाग ने कर्मचारियों का डाटा तैयार कर लिया है। रेलवे बोर्ड की हरी झंडी मिलते ही बोनस के रकम कर्मचारियों के खाते में पहुंच जाएगी। पिछली बार 17000 से ज्यादा का बोनस कर्मचारियों को दिया गया था।
नेशनल फेडरेशन ऑफ इंडियन रेलवेमेन एनएफआइआर के महासचिव एम रघुवैया ने रेलमंत्री अश्विनी वैष्णव को कर्मचारियों को मिलने वाले बोनस को लेकर पत्र भी लिखा है। उन्होंने कहा है कि रेलवे में कर्मचारियों के पद बड़े पैमाने पर रिक्त हैं, ऐसे में काम के प्रति कर्मचारियों का लगाव और उनके समर्पण के मद्देनजर इस वर्ष सीलिंग बढ़ाकर बढ़े हुए बोनस का भुगतान होना चाहिए। कर्मचारियों को मिलने वाले बोनस का सीलिंग 7000 रुपये ही है जो छठे वेतनमान (6th Pay Commission) पर आधारित है। अब इसे बढ़ा कर 18000 किया जाना चाहिए।
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वही बोकारो के कर्मचारियों को भी बोनस मिलना है। पिछले वर्ष बोकारो के करीब 3.5 हजार रेलवे कर्मचारियों के बीच 17951 रु बोनस के रूप में मिला था। भारतीय रेलवे मजूदर संघ का कहना है कि सातवें वेतनमान (7th Pay Commission) के अनुसार ही रेलवे कर्मचारियों को बोनस मिलना चाहिए। इसके लिए यूनियन की ओर से प्रबंधन से मांग रखी गई है।