Banke Bihari Temple Corridor : मथुरा के प्रसिद्ध बांके बिहारी मंदिर के कॉरिडोर बनाने को लेकर काफी समय से हलचल मची हुई है। लेकिन चारों तरफ कॉरिडोर बनाने का रास्ता अब साफ हो गया है। दरअसल, इलाहाबाद हाई कोर्ट ने योगी सरकार की प्रस्तावित योजना को हरी झंडी दिखा दी है। ऐसे में अब बांके बिहारी मंदिर कॉरिडोर का निर्माण काशी विश्वनाथ कॉरिडोर की तर्ज पर किया जाएगा। इसके लिए सरकार द्वारा पैसे दिए जाएंगे। श्रद्धालुओं की सुविधाओं को देखते हुए हाई कोर्ट ने फैसले पर मुहर लगाई है।
मंदिर के पैसे से नहीं सरकार के पैसे से तैयार होगा कॉरिडोर
जानकारी के मुताबिक, हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस प्रीतिंकर दिवाकर और जस्टिस आशुतोष श्रीवास्तव की बेंच ने आनंद शर्मा और मथुरा के एक व्यक्ति की याचिका पर सुनवाई करते हुए आदेश पारित कर दिया है। इतना ही नहीं कोर्ट ने साफ कहा कि मंदिर के बैंक खाते में जमा 262.50 करोड़ रुपये को न छुआ जाए। साथ ही मंदिर प्रबंधन में हस्तक्षेप न हो। साथ ही किसी भी श्रद्धालु को दर्शन करने को प्रतिबंधित न किया जाए।
कोर्ट ने कहा है कि संविधान के अनुच्छेद 25व 26 में मिला धार्मिक अधिकार पूर्ण नहीं है। ये मौलिक अधिकार कुछ हद तक लोक व्यवस्था के अधीन है। उचित अवरोध लगाया जा सकता है। कोर्ट ने कहा है कि सरकार तकनीकी विशेषज्ञ की सहायता से गलियों का अतिक्रमण हटाकर कारिडोर योजना अमल में लाए और देखे कि दोबारा अतिक्रमण न हो, तुरंत कार्रवाई की जाए।
इतना ही नहीं कोर्ट ने कहा है कि कॉरिडोर बनाने के चलते गोस्वामी परिवार द्वारा की जाने वाली पूजा -अर्चना या श्रृंगार में किसी तरह का कोई हस्तक्षेप नहीं किया जाएगा। सेवायतों को जो भी अधिकार हैं, वे यथावत बने रहेंगे। गौरतलब है कि सरकार द्वारा जो योजना बनाई गई है उसके तहत मंदिर के आसपास पांच एकड़ जमीन पर पार्किंग और अन्य सार्वजनिक सुविधाएं उपलब्ध करवाई जाएगी। इसका पूरा खर्च सरकार द्वारा उठाया जाएगा।